यदि मंडी समिति भंग हुई तो होगा कोर्ट का रूख

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हरिद्वार। संवाददाता। कृषि उत्पादन मंडी समिति रुड़की के अध्यक्ष प्रमोद जौहर ने कहा कि प्रदेश की भाजपा सरकार मंडी समिति को भंग करने की तैयारी कर रही है। यदि कार्यकाल पूरा होने से पूर्व समिति को भंग किया जाता है तो वह कोर्ट की शरण लेने को मजबूर होंगे।

नवीन मंडी स्थल रामपुर चुंगी स्थित मंडी कार्यालय में मंगलवार को पत्रकारवार्ता करते हुए समिति अध्यक्ष प्रमोद जौहर ने बताया कि वर्ष 2016 में मंडी की आय में 90 प्रतिशत की वृद्धि हुई। इसमें दुकानों की नीलामी का भी 60 लाख शामिल है। मार्च 2017 में मंडी की आय में 20 प्रतिशत की वृद्धि और मार्च से अब तक 14 फीसदी वृद्धि दर्ज की गई है। यह वृद्धि मंडी शुल्क से हुई है।

उन्होंने बताया कि मंडी पर 12 करोड़ रुपये का कर्ज था। जिसमें से उन्होंने करीब दो करोड़ रुपये का कर्ज उतार दिया है। उन्होंने मंडी में हो रहे अतिक्रमण पर ¨चता जताते हुए कहा कि मंडी अतिक्रमण का शिकार हो चुकी है। उनकी ओर से शासन-प्रशासन को इस संबंध में कई बार लिखा जा चुका है लेकिन इस पर कोई सख्त कदम नहीं उठाया जा रहा है। मंडी की कैंटीन पर भी जबरन कब्जा किया हुआ है।

उन्होंने कहा कि वर्ष 2002 में जिस समय यहां मंडी स्थापित हुई थी। उस समय केवल 50-60 लाइसेंस ही थे। जिनकी संख्या वर्तमान में करीब 300 हो चुकी है। मंडी अब यहां के कारोबार के हिसाब से छोटी पड़ने लगी है। मंडी को अन्य स्थान पर शिफ्ट करने के लिए उन्होंने शासन को प्रस्ताव भेजा था। इस पर अभी तक कोई जवाब नहीं आया है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में कई ऐसे इलाके हैं जहां पर कश्मीर से भी अच्छा सेब पैदा होता है। यदि सरकार वहां के किसानों को बढ़ावा दे और उन्हें डिब्बे उपलब्ध कराए तो किसानों और प्रदेश को काफी फायदा होगा। इस मौके पर डायरेक्टर चंद्रभान आदि मौजूद रहे।

 

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