देवभूमि के 20 प्रतिशत स्कूली बच्चे ही सुरक्षित 80 प्रतिशत खतरे में

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देहरादून। संवाददाता। उत्तराखंड में 80 फीसद निजी स्कूलों के वाहनों में बच्चों की सुरक्षा को ताक पर रखा जा रहा है। ये स्कूली वाहन न सिर्फ बच्चों की जान जोखिम में डाल रहे हैं, बल्कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का भी उल्लंघन कर रहे हैं। बाल आयोग की रिपोर्ट में ये चैंकाने वाले आंकड़े सामने आए हैं।

उत्तराखंड बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष योगेंद्र खंडूड़ी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने राज्य बाल आयोग को प्रदेश में निजी स्कूलों के वाहनों में बच्चों की सुरक्षा संबंधी 51 बिंदुओं पर रिपोर्ट मांगी थी।

इस पर आयोग के सदस्यों ने प्रदेश के विभिन्न जिलों के 20 स्कूलों में सर्वे किया, जिसमें लगभग सभी स्कूलों के वाहनों में बच्चों की सुरक्षा के साथ खिलवाड़ सामने आया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के निजी स्कूल बच्चों की सुरक्षा के प्रति गंभीर नजर नहीं आ रहे हैं। यह बेहद चिंता का विषय है। उन्होंने मुख्य सचिव को प्रदेश के स्कूलों में सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का सख्ती से पालन कराने के आदेश दिए हैं।

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