अल्मोड़ा जिले में बारिश के बाद भी पेयजल व्यवस्था पटरी पर नहीं आ पा रही है। जल संकट से जूझते हुए प्राकृतिक जल स्रोतों की दौड़ लगाकर थक चुके नगर से लेकर गांवों तक के लोगों का अब हौसला जवाब देने लगा है। नगर के नजदीक हवालबाग विकासखंड के बेह और गागिल गांव में एक माह से जल संकट से जूझ रहीं महिलाओं ने टंकी पर चढ़कर पानी मांगा। उन्होंने प्रदर्शन करते हुए कहा कि हर घर नल से जल पहुंचाने के दावे कर करोड़ों रुपये खर्च कर दिए लेकिन उनके घरों में लगे नल पूरी तरह सूख चुके हैं। उनका पूरा दिन पानी की व्यवस्था में बीत रहा है।
सोमवार को लंबे समय से जल संकट से जूझ रहीं बेह और गागिल की महिलाएं सिमलकोट पंपिंग योजना के टंकी में पहुंची और इसमें चढ़कर उन्होंने प्रदर्शन किया। उन्होंने कहा कि एक महीने से दोनों गांवों में जलापूर्ति ठप होने से उन्हें खासी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। कोसी नदी के नजदीकी गांव में लोगों को पानी न मिलना गंभीर है। कहा कि घर का सारा कामकाज छोड़कर उनका पूरा समय पानी की व्यवस्था करने में बीत रहा है। चेतावनी देते हुए कहा जल्द जलापूर्ति सुचारू नहीं हुई तो वे सड़कों पर उतरेंगी। वहां पर आनंदी देवी, कमला देवी, तुलसी देवी, तारा देवी, कविता देवी, सेना, खष्टी देवी, जीवन सिंह भाकुनी, महेंद्र सिंह आदि थे।
जल जीवन मिशन के तहत सिमलकोट पंपिंग योजना की लाइन की मरम्मत की जा रही है। ऐसे में दिक्कत आई है। जल्द मरम्मत का काम पूरा होगा और जलापूर्ति सुचारू कर दी जाएगी। -तनुजा मेहता, जेई, जल संस्थान, अल्मोड़ा।