फिर दरकी पहाड़ी…भरभराकर गिरे बोल्डर, भूस्खलन ने रोकी वाहनों की रफ्तार

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Uttarakhand News: Landslide occurred in quarab almora

अल्मोड़ा। भवाली-अल्मोड़ा राष्ट्रीय राजमार्ग में सोमवार की सुबह साढ़े दस बजे संवेदनशील क्वारब की पहाड़ी से मलबा गिरने से एनएच बंद हो गया। एनएच बंद होने से वाहनों की आवाजाही भी बंद हो गई। इस वजह से सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतार लग गई। अल्मोड़ा, बागेश्वर, हल्द्वानी की तरफ जाने वाले यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। पहाड़ी में दरारे पड़ने के साथ रुक-रुककर मलबा गिर रहा है। संकरे स्थान पर सड़क फिर टूटने से सड़क संकरी हो चुकी हैं।

इस बीच अल्मोड़ा की तरफ जाने वाले छोटे वाहन लौटकर काकड़ीघाट, बेड़गांव होते हुए चौसली की तरफ 26 किमी का अतिरिक्त सफर तय करके सफर कर रहे है। क्वारब पुलिस ने अल्मोड़ा जा रहे वाहनों को खैरना की तरफ लौटाया। इधर हल्द्वानी की तरफ से अल्मोड़ा आ रहे वाहनों को खैरना पुलिस नें बाया रानीखेत होते हुए भेजा, इस कारण यात्रियों को 50 किमी अतिरिक्त सफर तय करना पड़ा।

बता दें कि, क्वारब में लगातार हो रहे भू-धंसाव से तीन जिलों की दस लाख से अधिक आबादी प्रभावित हो रही है। यहां लगातार पहाड़ी दरक रही हैं। सड़क संकरी हो चुकी है। पहाड़ी से छोटा सा पत्थर के गिरने से भी लोग सहम जा रहे हैं। सफर के दौरान यात्रियों को अनहोनी का डर सता रहा है। क्वारब पर शुक्रवार को भी रूक-रूक कर मलबा गिरा। इससे कुछ देर वाहनों की रफ्तार पर ब्रेक लगा।

क्वारब पर पहाड़ी से लगातार गिर रहे बोल्डर और मलबा जहां पहाड़ के तीन जिलों की रफ्तार को रोक रहा है, वहीं इससे आम आदमी भी परेशान है। अल्मोड़ा, बागेश्वर, पिथौरागढ़ तीन जिलों को आने जाने वाले वाहन अल्मोड़ा-हल्द्वानी एनएच से ही आवाजाही करते हैं। क्वारब पर लगातार हो रहा भू धंसाव से तीन जिलों की 10 लाख से अधिक की आबादी प्रभावित हो रही है। दरअसल मार्ग में मलबा गिरने से यातायात अवरुद्ध रहता है। हल्द्वानी से बागेश्वर पहुंचने में आम तौर पर बस से छह घंटे लगते हैं लेकिन क्वारब पर मलबा गिरने से आठ घंटे लग जा रहे हैं। मार्ग बंद होने पर बसों के रानीखेत रूट से जाने पर और अधिक समय लग रहा है। इससे तीनों जिलों के यात्री परेशान हैं।

हल्की सरसराहट से सहम जाते हैं क्वारब के लोग
क्वारब पर दरकती पहाड़ी और तेज आंधी तूफान में पहाड़ी से गिरते बोल्डरों की आवाज से क्वारब के लोग सहम जाते हैं। हल्की सी सरसराहट में लोगों का कलेजा कांप जाता है कि कहीं कोई अनहोनी ना हो जाए। खास कर रात में स्थानीय लोग चैन की नींद नहीं ले पा रहे हैं।

व्यापारियों की रोजी-रोटी हो रही है प्रभावित
क्वारब पर अल्मोड़ा से हल्द्वानी और हल्द्वानी से अल्मोड़ा की तरफ आने जाने वाले वाहन रुकते हैंं। स्थानीय व्यापारियों के मुताबिक पूर्व में रोजाना करीब 70 से 80 वाहन क्वारब पर रुकते थे। यात्री और पर्यटक स्थानीय दुकानों में चाय, नाश्ता और दोपहर का भोजन करते थे। दरकती पहाड़ी के चलते अब क्वारब पर एक भी वाहन नहीं रुक रहा है। इससे स्थानीय स्तर पर व्यापार बुरी तरह चौपट हो रहा है।

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