चमोली। भारी बारिश के बीच लामबगड़ नाला उफान पर आने के कारण शुक्रवार से बंद बदरीनाथ हाईवे 22 घंटे बाद शनिवार को सुचारू हुआ। शुक्रवार को हाईवे का कुछ हिस्सा बह गया था। उस पर बड़े-बड़े पत्थर और बोल्डर अभी भी हैं। जिसके चलते हाईवे तो खुल गया लेकिन यात्री जोखिम उठाकर आवाजाही कर रहे हैं।
खचड़ा और लामबगड़ नाले में उफान आने से बंद हाईवे के दोनों ओर शाम तक वाहनों की लंबी लाइन लगी रही। पुलिस ने करीब 650 तीर्थयात्रियों को जगह-जगह रोक लिया था। वहीं, आज दोपहर हाईवे खुलने के बाद पांडुकेश्वर से यात्रियों के करीब 100 वाहन बदरीनाथ धाम के लिए रवाना किए गए।
जोशीमठ, मारवाड़ी और गोविंदघाट में अभी भी कई जगह यात्री रुके हुए हैं। बीआरओ के कमांडर कर्नल मनीष कपिल ने बताया कि लामबगड़ नाला क्षेत्र में हाईवे खोल दिया गया है। वाहनों की आवाजाही भी शुरू हो गई है। वाहनों को एहतियात के साथ चलने के लिए कहा गया है। भूस्खलन और बोल्डर आने से प्रदेश में 186 से ज्यादा सड़कें अभी भी बंद हैं।
वहीं, नौगांव में रात भर हुई तेज बारिश से देवलसारी गदेरा उफान पर है। जिससे यमुनोत्री हाइवे पर आवाजाही नही हो पा रही है। यहां 108 वाहन सहित कई प्राइवेट वाहन दोनों और फंसे हैं। ड्यूटी करने जा रहे कई अध्यापकों सहित नगर क्षेत्र के स्कूलों में पढ़ने जा रहे बच्चे भी फंसे हुए हैं, जो मार्ग खुलने का इंतजार कर रहे हैं।
खेतों से काम कर लौट रहे स्थानीय लोग सड़क खोलने में लगी जेसीबी मशीन की बकेट में बैठकर सड़क पार कर रहे हैं। जेसीबी मशीन जैसे ही मलबा साफ कर रही है पानी के बहाव के साथ दोबारा मलबा आ रहा है।
बारिश के बाद पहाड़ी इलाकों में भूस्खलन का खतरा बढ़ गया है। नदी नाले भी उफान पर हैं। वहीं, देहरादून, टिहरी, पौड़ी, चंपावत, नैनीताल, पिथौरागढ़, बागेश्वर में अगले 24 घंटे में भारी से बहुत भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट भी जारी किया गया है।
इन सभी जिलों में ज्यादातर इलाकों में तेज गर्जना के साथ भारी से बहुत अधिक बारिश की संभावना है। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विक्रम सिंह ने बताया कि अगले 48 घंटे के भीतर मैदान से लेकर पहाड़ तक झमाझम बारिश की संभावना है। ऐसे में आपदा प्रबंधन के लिहाज से सतर्क रहने की जरूरत है।