इंडियन नेशनल ट्रेड यूनियन कांग्रेस (इंटक) भाजपा की केंद्र व राज्य सरकारों पर श्रमिक विरोधी कानून बनाने के आरोप में नौ दिसंबर को विधानसभा का घेराव करेगी। पूर्व कैबिनेट मंत्री व इंटक के प्रदेश अध्यक्ष हीरा सिंह बिष्ट ने मंगलवार को राजपुर रोड स्थित कांग्रेस भवन में पत्रकार वार्ता में यह जानकारी दी।
समान कार्य, समान वेतन की नीति सभी विभागों में निगमों में लागू की जाए। आशा व आंगनबाड़ी कार्यकर्त्ताओं को 21 हजार व सहायकों को 18 हजार रुपये मासिक मानदेय दिया जाए। सार्वजनिक उपक्रमों रेलवे, बैंक, हवाई अड्डे, राष्ट्रीय राजमार्ग, जीवन बीमा, कारखाने, पावर प्रोजेक्ट, बंदरगाह, बीएसएनएल, एमटीएनएल आदि का निजीकरण बंद किया जाए। प्रेसवार्ता में युवा इंटक के प्रदेश अध्यक्ष संग्राम सिंह पुंडीर ने कहा कि बेरोजगारी की वजह से युवाओं में आक्रोश है और राज्य सरकार ने युवाओं के लिए कोई ठोस योजना नहीं बनाई है। इस मौके पर इंटक के वरिष्ठ नेता वीरेंद्र नेगी, बीके छतवाल, अशोक चौधरी, अनिल कुमार, जीतू कुमार आदि उपस्थित रहे।