देहरादून। कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा (Parivartan Yatra) तीसरे चरण से आगे नहीं बढ़ेगी। विधानसभा का शीतकालीन सत्र निपटने के तुरंत बाद इसे पर्वतीय क्षेत्र की लोकसभा की तीनों सीटों पर एक साथ निकाला जाएगा। 10 दिन की यह यात्रा 10 दिसंबर से प्रारंभ होकर 20 दिसंबर को समाप्त होगी।
विधानसभा का सत्र तय नहीं होने की वजह से कांग्रेस के तीसरे चरण की परिवर्तन यात्रा बार-बार टलती रही है। सत्र को लेकर असमंजस कहें या सरकार की रणनीति, कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा इससे सीधे तौर पर प्रभावित हुई है। परिवर्तन यात्रा का तीसरा चरण 20 से 24 अक्टूबर तक प्रस्तावित किया गया था। बाद में इसे स्थगित कर दिया गया। इसके बाद सरकार की ओर से विधानसभा का शीतकालीन सत्र आहूत करने पर विचार करने के बाद कांग्रेस के रणनीतिकारों ने सत्र के दौरान इसकी तिथियां तय करने पर जोर दिया।
सत्र तय नहीं होने से टलता रहा कार्यक्रम
सरकार ने पहले तय किया था कि 29 व 30 नवंबर को गैरसैंण में विधानसभा सत्र (Uttarakhand Assembly Election) आहूत किया जाएगा। तिथि तय करते ही कांग्रेस ने पर्वतीय क्षेत्रों में तीसरे चरण का कार्यक्रम तय करने के साथ ही सत्र के अंतिम दिन प्रदर्शन की योजना बनाई। सत्र के दौरान पर्वतीय क्षेत्रों के मुद्दों को धार देने और सरकार पर प्रहार करने की कांग्रेस की योजना कामयाब नहीं हो पाई। सरकार ने शीतकालीन सत्र की तिथि आगे बढ़ाकर सात व आठ दिसंबर तय करने के संकेत दिए। इन तिथियों के साथ सत्र गैरसैंण में कराने को लेकर संशय बना रहा।
10 दिनी होगी परिवर्तन यात्रा
कांग्रेस नैनीताल व हरिद्वार लोकसभा क्षेत्रों में परिवर्तन यात्रा के दो चरण पूरे कर चुकी है। अब तीन लोकसभा क्षेत्र बचे हैं। तीनों का बड़ा भू-भाग पर्वतीय है। गैरसैंण में सत्र के दौरान परिवर्तन यात्रा को धार देने की तैयारी की गई थी। सरकार अब विधानसभा सत्र नौ व 10 दिसंबर को देहरादून में तय कर चुकी है। अब कांग्रेस ने भी परिवर्तन यात्रा का कार्यक्रम तय कर लिया। तीन लोकसभा क्षेत्रों में 10 से 20 दिसंबर के बीच परिवर्तन यात्रा का तीसरा चरण पूरा किया जाएगा। टिहरी, पौड़ी और अल्मोड़ा लोकसभा क्षेत्रों में एक साथ परिवर्तन यात्रा निकाली जाएगी।
भाजपा सरकार की खामियां जनता के समक्ष रखेंगे
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गणेश गोदियाल ने कहा कि पार्टी के बड़े नेता तीनों लोकसभा क्षेत्रों में जिलेवार कार्यक्रमों में शामिल होंगे। तीसरे चरण में ही यात्रा का समापन होगा। परिवर्तन यात्रा के कार्यक्रम को अंतिम रूप दिया जा रहा है। दस दिनी यात्रा के दौरान भाजपा सरकार की खामियों, तीन-तीन मुख्यमंत्री बदलने से राज्य में उत्पन्न अव्यवस्था और विकास कार्यों पर विपरीत असर को जनता को बताया जाएगा। साथ में कांग्रेस की प्रदेश को लेकर भावी रणनीति और योजनाएं जनता के समक्ष रखी जाएंगी।