देहरादून। कोरोना वायरस की दूसरी लहर पहले से अधिक खतरनाक है। संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ रही है। स्थिति यह है कि कई जगहों पर पूरा परिवार ही संक्रमण की चपेट में आ गया है। ऐसे में इन परिवारों की मदद के लिए फिक्की फ्लो से जुड़ी महिलाओं ने ‘फूड फ्रॉम होम’ अभियान शुरू किया है। जिसके तहत हर दिन सात महिलाओं की टीम अपने-अपने क्षेत्रों में संक्रमित परिवार को दिन व रात का खाना पहुंचा रही हैं।
फ्लो उत्तराखंड की अध्यक्ष कोमल बत्रा ने बताया कि कोरोना संक्रमित परिवार को मदद पहुंचाने की यह पहल महिलाओं ने बीते सप्ताह खाने के चार पैकेट के साथ शुरू की थी, जिनकी संख्या बढ़कर अब 40 पहुंच चुकी है। सभी महिलाएं अपने-अपने घर पर ही खाना तैयार करती हैं। कोई रोटी तो कोई दाल, सब्जी व चावल के पैकेट बनाती हैं। दोपहर दो बजे और रात को साढ़े आठ बजे से पहले संक्रमित परिवार को यह पैकेट पहुंचाए जाते हैं।
वाट्सएप करनी होगी रिपोर्ट
उन्होंने बताया कि यदि कोई परिवार संक्रमित आया तो तो उन्हें 7409992666 नंबर पर अपनी कोरोना जांच की पॉजिटिव रिपोर्ट वाट्सएप करनी होगी। इसके अलावा वह कॉल कर भी खाने के पैकेट के लिए मदद मांग सकते हैं।
ये महिलाएं कर रही मदद
खाना बनाने, संक्रमित परिवार तक पहुंचाने और उन्हें फोन पर कोरोना के प्रति जागरूक व मानसिक तौर पर स्वस्थ रखने के लिए सुनीता वात्सल्य, स्मृति बत्रा, डॉ. गीता खन्ना, वैद्य शिखा प्रकाश, डॉ. नेहा शर्मा, मानसी विरमानी, डॉ. मानसी रस्तोगी, मनीत सूरी मदद कर रहीं हैं।
इस तरह होता है काम
इन महिलाओं का कोरोना संक्रमित परिवार को खाना पहुंचाने के लिए वाट्सएप ग्रुप बनाया है। जिस क्षेत्र में संक्रमित परिवार है उसका पता व नंबर ग्रुप में शेयर किया जाता है। इसके बाद संबंधित परिवार को फोन कर जानकारी हासिल की जाती है और फिर टू व्हीलर के माध्यम से घर के बाहर खाने का पैकेट पहुंचाया जाता है। फिलहाल महिलाएं यह सुविधा अपने क्षेत्र से पांच किलोमीटर के दायरे में रहने वाले संक्रमित परिवार को दे रहीं हैं।