ठंड से बचाने के लिए नैनीताल जू के जानवरों को दिया जाएगा मल्टी विटामिन, डाइट भी बदला

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नैनीताल :  नैनीताल चिडि़याघर  में वन्य जीवों को ठंड से बचाने के लिए दिसंबर पहले सप्ताह से मीनू बदलने की तैयारी है। बंगाल टाइगर समेत हिमालयन भालू आदि वन्य जीवों को ठंड से बचाने के लिए आहार में शहद व अंडे की मात्रा बढ़ाई जाएगी तो विटामिन व मल्टी विटामिन भी आहार में घोलकर दिए जाएंगे।

नैनीताल चिडिय़ाघर प्रबंधन शीतकाल में दिसंबर से हर साल वन्य जीवों को ठंड से बचाने के लिए मीनू में बदलाव करता है। मीनू बदलाव में यह ध्यान रखा जाता है कि वन्य जीवों को पोषण बेहतर हो और उन्हें ठंड में गर्मी का एहसास भी हो। यह रूटीन बदलाव है। चिडिय़ाघर के पशुचिकित्सक डॉ हिमांशु पांगती बताते हैं कि बंगाल टाइगर को रोजाना छह किलो भेंस का मांस दिया जाता है, ठंड में आहार में गुड़, कच्चा अंडा, विटामिन, मल्टी विटामिन ए, डी, ई व एच वाले पदार्थ दिए जाते हैं। इसे सीरप के तौर पर मिलाया जाता है। रोज 50 ग्राम शहद को बढ़ाकर 75 ग्राम कर दिया जाता है।

हिमालयन भालू को विटामिन के साथ ही शहद की मात्रा बढ़ाकर तथा खीर, फल व रोटी दी जाती है। टाइगर व लैपर्ड के बाड़े में ब्लौअर भी रखे जाते हैं। मारखोर, घुरड़ आदि को मिनरल्स सप्लीमेंट के साथ ही चोकर दिया जाता है। निदेशक चिडिय़ाघर व डीएफओ नैनीताल टीआर बीजू लाल ने बताया कि चिडिय़ाघर में वन्य जीवों को ठंड से बचाने के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। फिलहाल मौसम सुहावना है, लिहाजा मीनू में अगले माह पहले सप्ताह से बदलाव किया जा रहा है। ठंड से बचाव के लिए अन्य इंतजाम भी किए जाएंगे।

ढके जाएंगे फीजेंट के बाड़े

वन क्षेत्राधिकारी अजय रावत के अनुसार चिडिय़ाघर में फीजेंट को ठंड से बचाने के लिए बाड़ों को तिरपाल से ढका जाएगा। ब्लोअर भी लगाया जाएगा। फीजेंट को उबला हुआ अंडा दिया जाएगा। यहां बता दें कि चिडिय़ाघर में तीन बंगाल टाइगर, आठ लैपर्ड के अलावा दो हिमालयन भालू, मारखोर, काकड़, घुरड़, रेड पांडा, राज्य पक्षी मोनाल, चीर फीजेंट, सफेद मोर, सराव, भेडिय़ा, बारहसिंघा समेत कुल 233 वन्य जीव हैं।

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