धर्मपुर विधानसभा सीट पर भाजपा के वरिष्ठ युवा नेता और तीन बार के कैंट बोर्ड उपाध्यक्ष भूपेंद्र सिंह कंडारी की भी नजर

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देहरादून। उतराखण्ड प्रदेश मे विधानसभा चुनावो को मात्र 6 महीने का समय रह गया है और ऐसे मे प्रत्येक विधानसभा सीटो पर राष्ट्रीय राजनीतिक पार्टियों और क्षेत्रीय दलो के उम्मीदवार अपने -अपने टिकट की दावेदारी की दौड मे लग गए है। हम बात कर रहे है उतराखण्ड की सबसे ज्यादा मतदाताओ वाली राजधानी देहरादून के धर्मपुर विधानसभा की जहां पर भारतीय जनता पार्टी के कई वरिष्ठ नेता अपनी-अपनी दावेदारी पेश करने मे लग गए है। वह अभी से अपनी पार्टीयो के प्रदेश नेतृत्व के अलावा राष्ट्रीय नेतृत्व के मुख्य नेताओ के चक्कर लगाने मंे जुट गए है। धर्मपुर विधानसभा से भाजपा का टिकट चाहने वाले प्रत्येक दावेदार जनता के बीच घूमकर अपनी दावेदारी मजबूत करने मे लगे हुए है। सूत्रो के हवाले से ज्ञात हुआ ह कि धर्मपुर विधानसभा के भाजपा उम्मीदवार के टिकट के लिए कुछ स्थानीय वरिष्ठ भाजपा नेताओ के अलावा कैंट बोर्ड कलेमेनटाउन, देहरादून के निवर्तमान उपाध्यक्ष भूपेंद्र सिंह कंडारी भी पुनः धर्मपुर विधानसभा से अपनी दावेदारी मजबूती से अपने राजनीतिक आकाओ के समक्ष रख रहे हैं। भूपेंद्र सिंह कंडारी युवा नेता है जो कैंट बोर्ड के इतिहास मे एकमात्र भारतीय जनता पार्टी के नेता है जो तीन बार उपाध्यक्ष के पद पर आसीन हुए है, ज्ञात हो कि पूर्व मे कैंट बोर्ड मे कभी भी भाजपा का बोर्ड नही बन पाया था तथा कांग्रेस के ही उपाध्यक्ष बने थे। वह भाजपा के वरिष्ठ युवा नेता है जो पिछले 23 वर्षाे से भाजपा मे विभिन्न पदो पर कार्य कर रहे है। कंडारी देहरादून जिले की भारतीय जनता पार्टी मे मंडल अध्यक्ष युवा मोर्चा , जिलामंत्री युवा मोर्चा देहरादून, जिलाध्यक्ष युवा मोर्चा देहरादून, प्रदेश मंत्री युवा मोर्चा उतराखण्ड, भाजपा युवा मोर्चा उतराखण्ड के रचनात्मक प्रकोष्ठ सह-प्रभारी व तीन बार भारतीय जनता पार्टी की मुख्य टीम मे बतौर प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य के पद पर कार्य कर चुके है। भूपेंद्र सिंह कंडारी वर्तमान मे पिछले 12 वर्षों से रक्षा मंत्रालय, भारत सरकार, नई दिल्लीं के अंतर्गत कार्य करने वाले कैंट बोर्ड्स सदस्यो के मुख्य संगठन ‘आल इंडिया कैंट बोर्ड निर्वाचित सदन’ के राष्ट्रीय महामंत्री के पद पर आसीन है। इस संगठन के अंतर्गत देश के सभी 62 कैंट बोर्ड्स आते है। कैंट क्षेत्र की लगभग 50,000 जनता के बीच कंडारी की लोकप्रियता का उदाहरण इसी से पता चलता है कि वह तीन बार कैंट बोर्ड के इतिहास मे उपाध्यक्ष के पद पर निर्वाचित हो चुके है। कंडारी धर्मपुर विधानसभा में भारतीय जनता पार्टी के तेज-तर्रार युवा नेता हैं जिन्होने अपने कैंट उपाध्यक्ष रहते हुए पूर्व कांग्रेस सरकार में तत्कालीन कैबिनेट मंत्रीदिनेश अग्रवाल को अनेको विषयो पर सीधी टक्कर दी जो सर्वविदित है । युवा नेता भूपेंद्र सिंह कंडारी के साथ बडी तादाद मे धर्मपुर विधानसभा के भूतपूर्व सैनिक, छात्र, युवा व मातृशक्ति जुड़ी हुई है। वह विशेष रूप से पर्वतीय, मैदानी, गोरखाली व मुस्लिम समुदाय के लोगो मे बहुत लोकप्रिय है । कंडारी उतराखण्ड प्रदेश मे पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यरी, पूर्व मुख्यमंत्री मेजर जनरल भुवन चंद्र खंडूरी और त्रिवेंद्र सिंह रावत, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री तीर्थ सिंह रावत, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष उतराखण्ड भाजपा विशन सिंह चुफाल, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष भाजपा युवा मोर्चा उतराखण्ड, गजराज सिंह बिष्ट, और वर्तमान मुख्यमंत्री माननीय पुष्कर सिंह धामी के साथ भाजपा मे कार्य कर चुके है । भाजपा के सभी पूर्व व वर्तमान मे उतराखण्ड प्रदेश के भाजपा अध्यक्ष मदन कौशिक व उतराखण्ड के युवा माननीय मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भी उनकी लोकप्रियता और अधिकारियो से जनता के हित के लिए लड़ने की उनकी तेज-तर्रार कार्यशैली से बखुबी परिचित हैं क्योकि पुष्कर सिंह धामी थे जब भाजपा युवा मोर्चा उतराखण्ड के प्रदेश अध्यक्ष थे तब भूपेंद्र सिंह कंडारी जिलाध्यक्ष युवा मोर्चा देहरादून थे। वह वर्ष 2008 से वर्तमान समय तक कैंट बोर्ड मे लगातार 13 वर्ष तक कार्य करते हुए अपनी कार्यक्षमता का परिचय देते हुए कैंट क्षेत्र मे अभूतपूर्व विकास कर जोरदार उदाहरण प्रस्तुत किया। सर्वविदित है कि जनहित के लिऐ उन्होने कैंट बोर्ड मे सेना के अधिकारियो व कैंट के भारतीय सिविल सेवा के अधिकारियो के साथ बोर्ड बैठक मे जनहित के विषयो पर लड़कर कैंट क्षेत्र की जनता के हित मे अनेको ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए कैंट क्षेत्र का चौमुखी विकास किया है। ज्ञात हो की वर्ष 2017 के पिछले विधानसभा चुनाव मे भी उन्होने वर्तमान विधायक व इसी सीट से टिकट मांग रहे एक वरिष्ठ भाजपा नेता जिनका अब स्वर्गवास हो चुका है के साथ ही धर्मपुर विधानसभा से भाजपा प्रत्याक्षी के टिकट पाने के लिए उस समय प्रदेश नेतृत्व और दिल्ली हाईकमान के समक्ष अपनी मजबूत दावेदारी प्रस्तुत की थी। भाजपा उतराखण्ड के प्रादेशिक विश्वस्त सूत्र बताते है कि 2017 के विधानसभा चुनाव में धर्मपुर विधानसभा से भारतीय जनता पार्टी के पैनल मे तत्कालीन मेयर देहरादून व वर्तमान विधायक विनोद चमोली , तत्कालीन भाजपा के वरिष्ठ प्रादेशिक नेता स्वर्गीय उमेश अग्रवाल के अलावा तीसरा प्रमुख नाम कैंट बोर्ड के उपाध्यक्ष व भाजपा नेता भूपेंद्र सिंह कंडारी का ही था। अब देखना यह है कि धर्मपुर विधानसभा के धर्मयुद्ध मे वर्तमान विधायक विनोद चमोली के समक्ष 2022 मे होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा से टिकट पाने के लिए युवा नेता भूपेंद्र सिंह कंडारी व अन्य सक्रिय नेताओ मे से कौन-कौन अपनी दावेदारी भाजपा प्रादेशिक नेतृत्व व भाजपा राष्ट्रीय नेतृत्व नई दिल्ली के समक्ष आने वाले समय में रखते है। बहरहाल ऐसा प्रतीत होता दिख रहा है कि वर्तमान विधायक विनोद चमोली की इस बार 2017 कि तुलनात्मक राह आसान होती नही दिख रही है।
भूपेंद्र सिंह कंडारी के अतिरिक्त क्षेत्र के कुछ अन्य भाजपा नेता भी इस बार धर्मपुर विधानसभा से टिकट पाने की दौड मे लगे हुए है जिनमे अधिकांश की पृष्ठभूमि भी पर्वतीय समाज से ही है। बहरहाल भारतीय जनता पार्टी मे किसी भी विधानसभा सीट के टिकट पर अंतिम निर्णय तो भाजपा उतराखण्ड की संस्तुति रिपोर्ट पर भाजपा राष्ट्रीय नेतृत्व नई दिल्ली, व भाजपा का पार्लियामेंटी बोर्ड ही लेता है। देखना ये है कि इस बार 2022 चुनाव मे उतराखण्ड की इस धर्मपुर सीट पर भारतीय जनता पार्टी क्या अपने वर्तमान विधायक विनोद चमोली को ही पुनः टिकट देती है या किसी नये युवा चेहरे पर विचार करगी, ये तो आने वाला समय बतायेगा फिलहाल तो प्रत्येक भाजपा के दावेदार अपने टिकट पाने की दौड मे लगे हुए हैं।

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