अब बिजली का नया कनेक्शन 30 के बजाए 15 दिन के भीतर देना होगा। अगर ऐसा न किया तो एक ओर जहां यूपीसीएल पर जुर्माना लगेगा, वहीं उपभोक्ता को अतिरिक्त समय का हर्जाना भी मिलेगा। निर्माण कार्यों के लिए बिजली का कनेक्शन लेने को तत्काल का विकल्प दे दिया गया है। सोमवार को उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग ने विद्युत आपूर्ति संहिता -2020 लागू कर दिया। बिजली लाइन बिछाने की जरूरत न हो वहां, नए कनेक्शन देने की समयसीमा 30 दिन से घटाकर 15 दिन कर दी गई है। समय से बिजली कनेक्शन न दिया तो यूपीसीएल के खिलाफ जुर्माना लगाने के साथ ही उपभोक्ता को उसकी प्रतिपूर्ति भी देनी होगी।दस किलोवाट तक के अस्थायी बिजली कनेक्शन तत्काल सेवा के तहत एक दिन के भीतर जारी करने का विकल्प लागू कर दिया गया है।निर्माण कार्यों के लिए अस्थायी बिजली कनेक्शन लेने की अधिकतम समयसीमा खत्म कर दी गई है। पहले हर तीन माह में रिन्यू कराना होता था। यह कनेक्शन केवल तीन माह के लिए होता था।निर्माण कार्य के लिए 75 किलोवाट तक का अस्थायी बिजली कनेक्शन निर्माण पूरा होने के बाद स्थायी कनेक्शन में परिवर्तित करने का विकल्प दे दिया गया है। अभी तक अस्थायी कनेक्शन के लिए बिछी हुई लाइन को हटाकर दोबारा लाइन बिछाने का प्रावधान होता था।बिजली का मीटर अधिक चल रहा हो तो इसकी टेस्टिंग का प्रावधान है। अब इसकी प्रक्रिया काफी मजबूत कर दी गई है। नए नियम के तहत मीटर टेस्टिंग की अवधि में संचालित सभी गतिविधियों की वीडियोग्राफी होगी। यानी मौके पर मीटर लगाने और उतारने से लेकर लैब की सभी गतिविधियों की वीडियोग्राफी होगी। मौके से मीटर उतारकर लैब तक पहुंचाने के लिए विशेष टेंपर प्रूफ सीलिंग किटबैग होगा। इसमें लेकर जाना होगा।अब बिजली का कनेक्शन लेने के लिए ऑनलाइन आवेदन करने के बाद बिजली दफ्तर में आवेदन या दस्तावेज की हार्डकॉपी जमा कराने का प्रावधान खत्म कर दिया गया है,किसी उपभोक्ता को अपने बिजली लोड में कमी या बढ़ोतरी करनी होगी तो इसमें विलंब करने पर भी यूपीसीएल पर जुर्माना लगाने के साथ ही उपभोक्ता को प्रतिपूर्ति का प्रावधान कर दिया गया है।4 किलोवाट तक कनेक्शन : सर्विस लाइन चार्जेज में पहले ओवरहेड 600 रुपये देने होते थे, जिसके बदले अब 1000 रुपये देने होंगे। अगर कनेक्शन अंडर ग्राउंड होगा तो पहले 1200 रुपये के बजाए अब 2000 रुपये देने होंगे। घरेलू कनेक्शन में सिक्योरिटी 400 से बढ़कर 600 रुपये हो गई है। व्यावसायिक कनेक्शन में सिक्योरिटी 1000 रुपये से बढ़कर 1500 रुपये हो गई है। प्रीपेड मीटर लगाने पर भी यही सर्विस लाइन चार्जेज देने होंगे।4 किलोवाट से 10 किलोवाट कनेक्शन – सर्विस लाइन चार्जेज ओवरहेड में 1500 से बढ़कर 2000, अंडर ग्राउंड में 3000 से बढ़कर 5000 रुपये हुए। घरेलू कनेक्शन की सिक्योरिटी फीस 400 से बढ़कर 600 रुपये और व्यावसायिक की सिक्योरिटी फीस 1000 रुपये से बढ़ाकर 1500 रुपये कर दी गई है।10 किलोवाट से 25 किलोवाटर कनेक्शन – ओवरहेड 2500 से बढ़कर 4000 रुपये, अंडरग्राउंड चार्ज 5000 रुपये से बढ़ाकर 10 हजार रुपये कर दिया गया है। सिक्योरिटी मनी घरेलू का 400 से बढ़कर 600 रुपये और व्यावसायिक का 1000 रुपये से बढ़कर 1500 रुपये कर दिया गया है।25 किलोवाट से 50 किलोवाट कनेक्शन – ओवरहेड सर्विस चार्ज 4000 से बढ़ाकर 6000 रुपये, अंडरग्राउंड चार्ज 8000 से बढ़ाकर 15 हजार रुपये कर दिया गया है। सिक्योरिटी मनी डोमेस्टिक की 600 रुपये और नोन डोमेस्टिक की 1500 रुपये कर दी गई है। 50 किलोवाट से 75 किलोवाट कनेक्शन – ओवरहेड सर्विस लाइन चार्ज 5000 से बढ़ाकर 8000 रुपये और अंडर ग्राउंड चार्ज 10000 से 20 हजार रुपये कर दिया गया है। सिक्योरिटी मनी 600 और 1500 रुपये ही है।उत्तराखंड में अभी तक विद्युत संहिता 2007, एलटी(लो टेंशन) रेगुलेशन 2013 और एचटी(हाई टेंशन) रेगुलेशन 2008 से बिजली उपभोक्ताओं को सेवाएं मिल रही थी। तीनों रेगुलेशन से विभाग की जिम्मेदारी तय हो रही थी। लेकिन नए कनेक्शन से लेकर बिजली से जुड़ी सेवाओं में बड़ा बदलाव होने से रेगुलेशन में बदलाव की जरूरत महसूस हो रही थी