परिवहन विभाग की संपत्तियों पर नजर डाल रही सरकार- धस्माना

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देहरादून। संवाददाता। उत्तराखण्ड सरकार अपने कर्तव्यों के निर्वहन करने की बजाय परिवहन निगम की सम्पत्तियों पर नजरें गढ़ाये बैठी है। पुराने बस अड्डों को उजाड़ा जा रहा है तथा नये बस अड्डों व कार्यशालाओं का निर्माण नहीं किया जा रहा है।

यह बात आज कांग्रेस भवन में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान कांग्रेस ेनेता सूर्यकांत धस्माना द्वारा कही गयी। उन्हांने रोडवेज कर्मचारी परिषद द्वारा उठाये गये सवालों का हवाला देते हुए कहा कि सरकार द्वारा नगर के बीच संचालित किये जाने वाले गांधी रोड अंर्तराज्यीय बस अड्डे जिसकी जमीन को व्यवसायिक उपयोग के लिए एक निजी कम्पनी को दिया जा चुका है तथा राजपुर रोड स्थित निगम के सिटी बस अड्डे की भूमि का मुद्दा उठाते हुए कहा गया कि इसका उपयोग पांर्किग के लिए किया जाना था लेकिन अभी तक इनका कोई उपयोग नहीं किया जा सका है।

उन्होने कहा कि तमाम शहरों में बस अड्डे रेलवे स्टेशन के पास है और उनका ठीक से संचालन भी किया जा रहा है लेकिन उत्तराखण्ड की सरकार न तो पुराने बस अड्डों का संचालन ठीक से कर रही है और न उनकी जमीनों का उपयोग ही ठीक से हो सका है, जो कि सरकार की बडी नाकामी है।

उन्होने कहा कि ट्रांसपोर्ट नगर में कार्यशाला के लिए जमीन ली गयी लेकिन अभी यह प्रस्तावित है। उन्होने कहा कि हल्द्वानी और काशीपुर बस अड्डों सहित तमाम जमीनों पर सरकार की नजरें लगी हुई है। श्रीनगर में भी बस अड्डे का संचालन सुनिश्चित नहींं हो सका है। यह बसों और कर्मचारियों की कमी के कारण बंदी की कगार पर है उन्होने कहा कि सरकार नीतिगत रूप से निगम की जमीनों का प्रबन्धन व उपयोग करने में फेल साबित हुई है। जिसका हर्जाना जनता को असुविधाओं के रूप में भोगना पड़ रहा है।

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