देहरादून सीबीआई ने बैंक से फर्जीवाड़ा कर लोन लेने के मामले में दो फर्मों (कंपनी) व कुछ अन्य लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। आरोप है कि कंपनियों ने जो संपत्ति बंधक रखी थी, उनकी कीमत दर्शाई गई कीमत से बेहद कम निकली। मामला 16 करोड़ रुपये से ज्यादा की धोखाधड़ी का है। दून सीबीआई टीम ने मामले में जांच शुरू कर दी है। सीबीआई दून एसपी पीके पाणीग्रही ने बताया कि बैंक लोन फर्जीवाड़े को लेकर यूनियन बैंक की विजिलेंस टीम ने तहरीर दी थी। बैंक से आरकेडी पाइप्स की सहायक कंपनी श्री आरआर पाइप्स को बैंक से बीते पांच साल में कई लोन दिए गए। कंपनी संचालकों ने एक फर्म से फर्जीवाड़े से अपनी संपत्तियों का काफी ज्यादा कीमत का आकलन करवाया। इसका खुलासा लोन नहीं चुकाए जाने पर बैंक की ओर से किए गए संपत्ति की कीमत के आकलन में हुआ। इतना ही नहीं आरोपियों ने बैंक में फर्जी दस्तावेज से लाभ हानि दिखाने में भी फर्जीवाड़ा किया। इसमें चार्टेड अकाउंटेंट के फर्जी मुहर लगाने के साथ ही हस्ताक्षर किए गए। बैंक को जब फर्जीवाड़े का पता लगा तब तक आरोपियों पर 16.32 करोड़ रुपये बकाया था, जो नहीं चुकाया गया। मामले में कुल सात आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है।
ये हैं आरोपी
1. श्री आरआर पाइप्स, पता- 31सी, गुरु आनंद नगर ऐक्शटेंशन लक्ष्मी नगर दिल्ली।
2. आरकेडी पाइप्स कंपनी के प्रोपराइटर पता उपरोक्त।
3. शरद गुप्ता निवासी 5/119, सेक्टर दो, राजेंद्र नगर गाजियाबाद। (आरकेडी पाइप्स में निदेशक और श्री आरआार पाइप्स में गारंटर।
4. रितु अग्रवाल निवासी 734, ब्लॉक सात, सेक्टर पांच, राजेंद्रनगर, साहिबाबाद। (पीकेडी पाइप्स में डायरेक्टर और श्री आरआर पाइप्स में गारंटर)
5. ओम श्री इंफ्रा प्रोक्ट्स, पता- जी 55, फ्लैट नंबर जी दो, दिलशाद गार्डन (श्री आरआर पाइप्स में गारंटर)
6. आरएम एंड एसोसिएट्स (आर्किटेक्ट, इंजीनियर, वेल्यूअर व इंटिरियर डिजाइर) पता- मंगलम, ग्रीन पार्क, हसनपुर, दिल्ली रोड सहारनपुर। (लोन धोखाधड़ी करने वाली कंपनी की सपत्तियों की कीमत ज्यादा बताई)
7. अज्ञात बैंक कर्मचारी और अन्य अज्ञात लोग भी मुकदमे में आरोपी बनाए गए हैं।