देहरादून। रोडवेज में प्रतिदिन निर्धारित किलोमीटर पूरा किए बगैर ही चालक-परिचालकों को प्रोत्साहन राशि बांटने का मामला पकड़ में आया है। खुद निगम मुख्यालय ने समीक्षा के दौरान ये मामला पकड़ा। माना जा रहा कि डिपो में सहायक महाप्रबंधकों से सांठगांठ कर धोखे से हर महीने प्रोत्साहन राशि ली जा रही है।
महाप्रबंधक दीपक जैन ने मामले में जांच बैठा दी है। साथ ही तीनों मंडलों के मंडलीय प्रबंधकों व डिपो के सहायक महाप्रबंधकों को नियमों का पालन कराने की चेतावनी दी गई है।
रोडवेज में प्रतिदिन मैदानी, पर्वतीय और मिश्रित मार्ग पर संचालन के लिए चालकों व परिचालकों के किलोमीटर निर्धारित हैं। मैदानी मार्ग पर 250 किमी, पर्वतीय मार्गों पर 150 किमी जबकि मिश्रित मार्ग पर यह सीमा 200 किमी है। हर दिन यह निर्धारित किमी पूरे करने वाले चालक व परिचालकों को प्रतिमाह वेतन के साथ प्रोत्साहन राशि दी जा जाती है।
यह राशि दो हजार से तीन हजार रुपये तक होती है। बताया गया कि रोज जो बसें लोकल मार्गों पर चल रही हैं उनके निर्धारित किमी पूरे नहीं हो रहे। फिर भी इनके चालक-परिचालकों को प्रोत्साहन राशि हर माह उपलब्ध कराई जा रही। डिपो के एजीएम मार्गों का परीक्षण किए बगैर ही और चालक-परिचालकों का ब्योरा जांच न करने के कारण उन्हें प्रोत्साहन राशि बांटने का काम कर रहे हैं। निगम मुख्यालय को आशंका है कि चालक और परिचालकों से एजीएम सांठगांठ कर इस कृत्य को अंजाम दे रहे। जिससे निगम को हर महीने लाखों की चपत लग रही।