उत्तराखंड में चारधाम यात्रा को लेकर सुप्रीम कोर्ट में दायर एसएलपी (विशेष अनुमति याचिका) को सरकार वापस लेगी। मामले की सुनवाई में विलंब होने के कारण सरकार ने यह निर्णय लिया है। सरकार चाहती है कि हाईकोर्ट में ही चारधाम यात्रा संचालित करने का फैसला हो जाए। इसके लिए कोर्ट में मजबूती से पैरवी की जाएगी।पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि सरकार ने सुप्रीम कोर्ट से एसएलपी वापस लेने का निर्णय लिया है। सुप्रीम कोर्ट में मामले की सुनवाई में विलंब होने की वजह से सरकार ने याचिका वापस लेने का फैसला लिया है। सरकार का चाहती है कि चारधाम यात्रा शुरू करने पर तत्काल फैसला हो।
सरकार ने आग्रह किया कि हाईकोर्ट ही मामले की सुनवाई कर निर्णय ले। महाराज ने कहा कि कोर्ट में सरकार मजबूती से पैरवी करेगी। हाईकोर्ट से सुनवाई के लिए कंप्यूटर जनरेटेड तारीख मिल रही है। जिससे मामले बहस नहीं हो पाई है। अब सरकार ने फैसला लिया कि तत्काल हाईकोर्ट में मामले को रखा जाए। महाराज ने कहा कि उम्मीद है कि हाईकोर्ट का फैसला जनभावनाओं के अनुरूप होगा।
यात्रा शुरू करने का है दबाव
इस साल अप्रैल में केदारनाथ, बदरीनाथ, गंगोत्री, यमुनोत्री धाम के कपाट खुल गए थे। सरकार ने चारधाम यात्रा संचालित करने के निर्णय ले लिया था। लेकिन कोविड महामारी को देखते हुए हाईकोर्ट के आदेश पर सरकार ने यात्रा स्थगित कर दी थी। अभी तक यात्रा का संचालन नहीं हो पाया है। तीर्थ पुरोहितों की ओर से विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। जिससे सरकार पर भी चारधाम यात्रा शुरू करने का दबाव है।
बदरीनाथ जा रहे आप कार्यकर्ताओं को पुलिस ने रोका
प्रदेश उपाध्यक्ष विनोद कप्रवाण के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने बुधवार को बदरीनाथ कूच किया। दोपहर करीब एक बजे कार्यकर्ता पांडुकेश्वर पहुंचे, जहां पुलिस ने पहले से बैरिकेडिंग लगा रखी थी। यहां कार्यकर्ताओं ने प्रदेश सरकार के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। इस दौरान उनकी पुलिस से धक्कामुक्की भी हुई। विरोध बढ़ता देख पुलिस सभी कार्यकर्ताओं को गोविंदघाट थाने ले आई। कुछ देर बाद सभी को छोड़ दिया गया।
इस दौरान विनोद कप्रवाण ने कहा कि स्थानीय लोगों को भी बदरीनाथ नहीं जाने दिया जा रहा है। यात्रा का मामला हाईकोर्ट में सरकार की लापरवाही से लटका हुआ है। उन्होंने यात्रा शुरू नहीं होने पर आंदोलन की चेतावनी दी। इस दौरान आप कार्यकर्ता भगवती प्रसाद मैंदोली, अनूप पंवार, अनुज चौहान, कुलदीप नेगी, सूरज गड़िया, देवेश राणा, मनोज, अशोक शाह, अनुराग सहित अन्य कार्यकर्ता उपस्थित थे।