हरिद्वार। अधिवक्ता से फोन पर कुख्यात सुनील राठी और अल्मोड़ा जेल में बंद गैंगस्टर कलीम के नाम पर पांच लाख की रंगदारी मांगने वाले दो बदमाशों को सिडकुल पुलिस ने धर दबोचा। दोनों बदमाश कलीम और प्रवीण वाल्मीकि के पुराने गुर्गे के निकले। उनके कब्जे से धमकी देने में इस्तेमाल हुआ मोबाइल फोन, तमंचा व एक कारतूस बरामद हुआ है। पुलिस इस मामले में कुख्यात राठी, प्रवीण वाल्मीकि व गैंगेस्टर कलीम की भूमिका भी खंगाल रही है।
ये था पूरा मामला
अपर रोड हरिद्वार निवासी अधिवक्ता अभिषेक भारद्वाज के मोबाइल पर चार दिन पहले धमकी भरी कॉल आई थी। जिसमें रोशनाबाद जेल में बंद कुख्यात सुनील राठी, प्रवीण वाल्मीकी और कलीम के नाम पर पांच लाख की रंगदारी मांगी गई थी। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने पुलिस और एसओजी को जल्द खुलासे के निर्देश दिए थे। छानबीन के बाद सिडकुल थाने के एसएसआइ शहजाद अली के नेतृत्व में एक पुलिस टीम ने दो आरोपितों को गिरफ्तार कर मामले का पर्दाफाश कर दिया।
गैंगेस्टर कलीम और प्रवीण वाल्मीकि से जुड़े हैं बदमाश के तार
आरोपितों की पहचान सागर चौहान निवासी सैनिक कालोनी, चाऊमंडी रुड़की और अभय शर्मा निवासी खड़खड़ी हरिद्वार के रूप में हुई है। उनके कब्जे से धमकी देने में इस्तेमाल मोबाइल, तमंचा व कारतूस भी बरामद हुए हैं। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि दोनों बदमाश गैंगेस्टर कलीम और प्रवीण वाल्मीकि से जुड़े रहे हैं और साल 2021 में मोनू त्यागी से रंगदारी मांगने के मामले में ज्वालापुर से जेल भी जा चुके हैं। एसएसपी ने बताया कि आरोपितों के कब्जे से तमंचा व कारतूस बरामद होने पर उनके खिलाफ आर्म्स एक्ट के तहत भी एक मुकदमा दर्ज किया गया है। एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि इस मामले में सुनील राठी, प्रवीण वाल्मीकि व गैंगस्टर कलीम की भूमिका की जांच भी की जाएगी।
नशे की तलब लगने पर मांगी रंगदारी
पुलिस की जांच में सामने आया है कि 31 मार्च को आरोपित सागर चौहान अपनी मां से लड़ाई करने के बाद खड़खड़ी में अपने दोस्त रजत से मिलने आया था। उसे रजत नहीं मिला। लेकिन अभय से उसकी मुलाकात हुई। दोनों साथ मिलकर नशा करने के लिए भूपतवाला में एक ढाबे पर पहुंच गए। नशा करने के बाद उन्हें और नशे की तलब लगी। लेकिन पैसे नहीं थे। जिसके बाद अभय ने सागर को कहा कि एक अधिवक्ता है, जो उन्हें पैसे दे देगा। इसके बाद उसने सागर को मोबाइल नंबर उपलब्ध कराया। सागर ने अधिवक्ता को फोन किया और कलीम का नाम लेते हुए पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी। रकम न देने पर अंजाम भुगतने की चेतावनी दी थी। दोनों आरोपियों को कोर्ट में पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया है। पुलिस टीम में एसएसआइ शहजाद अली, कोर्ट चौकी प्रभारी रघुवीर रावत, कांस्टेबल मनीष व गजेंद्र शामिल रहे।