हरिद्वार रेलवे स्टेशन पर तैयार हो रहा कलर कोड प्रवेशद्वार

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हरिद्वार। कुंभ की तैयारियों में जुटा रेलवे कुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं की यात्रा को सुगम और सुव्यवस्थित बनाने के लिए हरिद्वार रेलवे स्टेशन पर विशेष व्यवस्था कर रहा है। इसके तहत स्टेशन से अलग-अलग दिशाओं में संचालित होने वाली ट्रेन के लिए प्लेटफार्म नियत और निर्धारित किए जा रहे हैं। साथ ही रेलवे इस तरह की व्यवस्था भी विकसित कर रहा है कि स्टेशन परिसर में प्रवेश करने वाला यात्री जिस दिशा में जाना चाहता है, सीधे उस दिशा में जाने वाली ट्रेन के लिए तय प्लेटफार्म पर ही पहुंचे।

इसके लिए हरिद्वार रेलवे स्टेशन पर अलग-अलग दिशाओं में जाने वाली ट्रेन और उनके लिए निर्धारित प्लेटफार्म पर जाने के लिए अलग-अलग कलर कोड वाले प्रवेशद्वार बनाए जा रहे हैं। ताकि यात्री को दूर से ही पता लग जाए कि उसे ट्रेन किस प्लेटफार्म से मिलेगी और वहां जाने के लिए किस गेट से प्रवेश करना होगा। रेलवे की व्यवस्था के अनुसार यात्री को उसके गंतव्य का टिकट और आरक्षण भी प्लेटफार्म प्रवेशद्वार की लाइन में ही ‘चलायमान टिकट केंद्र’ (मोबाइल टिकट घर) से मिल जाएगा।

रेलवे की इस व्यवस्था से हरिद्वार कुंभ रेलवे पुलिस के साथ ही मेला प्रशासन, खासकर मेला पुलिस को भीड़ नियंत्रण करने में न सिर्फ आसानी होगी, बल्कि ऐसे आयोजनों में यात्रियों की ट्रेन पकड़ने और टिकट खरीदने को मचने वाली भगदड़ से भी निजात मिल जाएगी। दस फरवरी 2013 को प्रयागराज में मौनी अमावस्या के शाही स्नान के दौरान रेलवे स्टेशन पर मची भगदड़ में कई श्रद्धालुओं की मौत हो गई थी। इससे सबक लेते हुए रेलवे की ओर से हरिद्वार में यह व्यवस्था की जा रही है। स्टेशन परिसर में प्रवेश से पहले और पूरे मेला क्षेत्र में श्रद्धालुओं की जानकारी के लिए इस व्यवस्था, खासकर कलर कोड व्यवस्था का विभिन्न भाषाओं में व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाना है।

इससे यात्रियों को स्टेशन पहुंचने से पहले ही जानकारी हो जाएगी कि उन्हें किस गेट से स्टेशन परिसर में प्रवेश करना है। यही नहीं, रेलवे ऐसे इंतजाम भी कर रहा है कि यात्री अपने निर्धारित प्लेटफार्म के अलावा चाहकर भी दूसरे किसी प्लेटफार्म पर न जा सके। स्टेशन अधीक्षक हरिद्वार एमके सिंह ने बताया कि इसके लिए प्रवेशद्वार से ही निर्धारित प्लेटफार्म तक जाने के पूरे रास्ते को बैरिकेड किया जा रहा है। उन्होंने दावा किया कि एक बार घुसने के बाद यात्री सिर्फ और सिर्फ अपने निर्धारित प्लेटफार्म पर ही जा सकेगा। इससे भीड़ के बीच सामान आदि उठाने या चोरी करने की फिराक में घूमने वाले आपराधिक तत्वों पर भी लगाम लगाई जा सकेगी।

हर जगह चलता-फिरता टिकट घर

कुंभ के दौरान टिकट घर पर यात्रियों की निर्भरता और भीड़ कम करने के लिए रेलवे हैंड-हेल्ड मशीन के साथ चलते-फिरते टिकट घर की योजना पर भी काम कर रहा है। इसके तहत स्टेशन प्रवेशद्वार पर लगने वाली लाइन के साथ-साथ पूरे मेला क्षेत्र में रेलवे का यह चलता-फिरता टिकटघर ‘राउंड-द-क्लाक’ सक्रिय रहेगा और यात्रियों को उनके ही स्थान पर वाजिब मूल्य की आवश्यक टिकट उपलब्ध कराएगा।

एनजीओ और एनएसएस की मदद

कुंभ के दौरान यात्री सुविधा को रेलवे अपने कर्मियों के साथ एक हजार से अधिक एनजीओ और एनएसएस स्वयं सेवियों की भी मदद लेगा। यह सभी मेला क्षेत्र से लेकर रेलवे स्टेशन परिसर और परिसर के बाहर यात्रियों की मदद को चैबीसों घंटे तत्पर रहेंगे। कुंभ मेला अधिष्ठान भी उनकी मदद करेगा।

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