पंतनगर पहुंचे राज्यपाल, अधिकारियों से बोले-खेती में बेहतर काम करने वालों को आइकॉन की तरह प्रोजेक्ट करें

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पंतनगर : राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल रिटायर्ड गुरमीत सिंह ने कहा कि जैविक खेती में क्रांति लाएं। साथ ही यूएस नगर में कृषि सहित विभिन्न क्षेत्रों में ऐसे लोगों को चिन्हित करें, जो बेस्ट काम किये हों। जिन्हें आइकॉन की तरह प्रोजेक्ट किया जाए और उन्हें सम्मानित किया जाएगा। जिससे लोग प्रेरित होकर कृषि आदि व्यवसाय कर आत्मनिर्भर हो सके।

राज्यपाल सोमवार को पूर्वाह्न साढ़े 11 बजे पंतनगर एयरपोर्ट पहुंचे। जहां से उन्होंने पन्त विवि के तराई भवन में पहुंचकर दोपहर साढ़े 12 बजे डीएम युगल किशोर पन्त, सीडीओ आशीष भटगाई, एसएसपी दलीप सिंह कुंवर और सीएमओ डॉक्टर सुनीता रतूड़ी चुफाल की बैठक ली। इस दौरान ने यूएस नगर के इतिहास,भौगोलिक, कृषि, व्यवसाय आदि की जानकारी ली। उन्होंने बीज क्रांति लाने, औद्योगिक शोध को बढ़ावा पर चर्चा की। कहा कि यूएस नगर में ऐसा क्या बेस्ट कार्य है, जिन्हें विश्व को बताया सके।

थारू-बक्सा जनजाति जैविक खेती व मशरूम की खेती से जोड़े

कहा कि थारू-बक्सा जनजाति की आय बढ़ाने के लिए उन्हें जैविक खेती, मशरूम आदि खेती के प्रति जोड़ें। जिससे उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार लाया जा सके। कृषि को जैविक व प्राकृतिक खेती बढ़ावा दिया जाए। नहीं तो पंजाब की तरह अधिक उत्पादन लेने के चक्कर में अंधाधुंध रासायनिक खाद का प्रयोग करने से मृदा की सेहत खराब हो सकती है।

पड़ोसी जिलों से बनाएं समन्‍वय

राज्यपाल ने डीएम से सवाल किया कि यूएस नगर से उत्तर प्रदेश के पांच जिलों की सीमाएं लगी हैं। इन जिलों के जिला प्रशासन से कितनी बार वार्ता हो हुई है। साथ ही इन जिलों के जिला प्रशासन से वार्ता कर आपसी समन्वय बनाने को कहा। जिससे अपराध पर अंकुश लगेगा। उन्होंने एसएसपी से पूछा कि पुलिस विभाग में जिले में कितनी महिला कर्मचारी है। एसएसपी ने कहा कि 30 फीसद हैं। उन्होंने महिला हिंसा के बारे में चर्चा की।

कोरोना संक्रमण के बारे में ली जानकारी

राज्यपाल ने सीएमओ से कोरोना संक्रमण रोकने के लिए की गई व्यवस्था की जानकारी ली। उन्होंने स्वयं सहायता सूमहों को बढ़ावा देने को कहा। इससे महिलाएं आत्मनिर्भर होंगी। जिले में 4038 स्वयं सहायता समूह हैं। उन्होंने जिले की चुनौतियों पर गहन मंथन किया। साथ ही अधिकारियों से कहा कि मंगलवार को बताएं कि जिले में क्या बेस्ट है, जिन्हें दुनिया को बताया जा सके। इससे जिले की पहचान दुनिया मे होगी। मत्स्य, मछली, उद्यान आदि को बढ़ावा देने पर जोर दिया।

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