मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के हल्द्वानी दौरे में मचा बवाल, काले झंडे दिखाए, ये है मामला

0
235

मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत  के हल्द्वानी दौरे के दौरान भीम आर्मी कार्यकर्ताओं द्वारा विरोध स्वरूप काले झंडे दिखाकर मुख्यमंत्री वापस जाओ के नारे लगाते हुए  जमकर विरोध-प्रदर्शन किया। पुलिस ने तुरंत ही एक्शन लेते हुए प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। प्रदर्शनकारियों ने चिंता जताई है कि उत्तराखंड राज्य में कोरोना महामारी के कारण एक गंभीर स्थिति बन गयी है। काम बंद होने के कारण लाखों दिहाड़ी मजदूर बेरोजगार है और दूसरी तरफ एक लाख से ज्यादा उत्तराखंडी युवाओं को राज्य में मजबूरी में  वापस लौटना पड़ा है। कोई भी आज कमा नहीं पा रहे हैं। लेकिन लोगों को राहत देने के बजाय सरकार अपना राजस्व वसूलने में लगी है।

पानी और बिजली के बिलों पर राहत देने के बजाय बिजली के दाम बढ़ा दिए हैं। शायद यही प्रधानमंत्री का आपदा में अवसर वाले सूत्र का अर्थ है। यह बहुत शर्मनाक है कि जब जनता त्राहि त्राहि कर रही है तब सरकार जिम्मेदारी लेने के बजाय जनता पर महंगाई थोप रही है और मजदूर कामगार बेरोजगारों को भुखमरी के संकट की ओर धकेल दिया गया है। इससे बैकलॉग के हज़ारों रिक्त पड़े पदों पर भर्ती कर, बेरोजगारों को रोजगार देकर और महंगाई को कम करके निपटा जा सकता था लेकिन यह करने के बजाय सरकार हवाई दावे और जुमलेबाजी कर रही है। हल्द्वानी की जनता को महंगाई और बेरोजगारी के साथ साथ अवैध ट्रंचिंग ग्राउंड के प्रदूषण का अतिरिक्त तोहफा भाजपा सरकार ने दे दिया है जिसके कारण लाखों लोगों का जीवन संकट में पड़ गया है।

प्रदर्शनकारियों ने चेताया कि अगर उनकी लंबित मांगों का जल्द ही निस्तारण नहीं किया जाता है तो वे उग्र आंदेलन करेंगे। मांग की है कि सरकार आमजन के लिए राहत पैकेज जारी करे। कहा सरकारी विभागों में रिक्त पदों पर जल्द से जल्द भर्ती की जाए। विरोध करने वालों में जिलाध्यक्ष भीम आर्मी नफीस अहमद खान, मंडल अध्यक्ष सिराज अहमद, जिलाध्यक्ष आसपा मनीष गौतम, मोहन लाल आर्य, कैलाश चन्द्र, मोहम्मद फैसल, इरशाद अहमद आदि मौजूद थे।

इसलिए हम सरकार से मांग करना चाहते हैं कि-
1- बैकलॉग के हज़ारों रिक्त पड़े पदों पर तुरन्त भर्ती की जाय।
2- हल्द्वानी से अवैध ट्रंचिंग ग्राउंड को जून 2018 में कोर्ट के निर्देशानुसार SWM प्लांट जल्द से जल्द बनाया जाय।
3- बेरोज़गारी को कम करने की योजना बनाते हुए सभी बेरोजगारों को योग्यता अनुरूप कार्य सुनिश्चित किया जाय, जब तक यह नहीं होता तब तक सभी बेरोजगारों को दस हजार रुपये मासिक बेरोजगारी भत्ता देने का प्रावधान किया जाय।
4- महंगाई पर रोक लगाई जाए।
5- कोविड टेस्टिंग घोटाले के दोषियों को सजा दी जाय।
6- साप्ताहिक बाजार खोले जायँ।
7- पानी और बिजली बिलों को पूरी तरह से माफ़ किया जाय।
8- प्रवासी मज़दूरों के लिए निशुल्क राशन की व्यवस्था की जाये.
9- मनरेगा के अंतर्गत काम के दिनों को 200 दिन तक बढ़ाया जाये.
10- शहरों और पहाड़ों में दिहाड़ी मज़दूर और लौटे हुए उत्तराखंडियों के लिए तुरंत रोज़गार योजना बनायी जाय।
11-  राज्य में हर मज़दूर या गरीब परिवार को न्यूनतम 6000 रुपये प्रतिमाह सहायता दी जाये.

LEAVE A REPLY