हल्द्वानी : राजकीय मेडिकल कालेज में आवारा कुत्तों का आतंक कम नहीं हो रहा है। परिसर में अब तक 12 लोगों को काट चुके हैं। जैसे ही कालेज प्रशासन आवारा कुत्तों से निजात पाने की कार्रवाई कर रहा था। वहीं पूर्व मंत्री व सांसद मेनका गांधी ने फोन कर कुत्तों पर किसी तरह की कार्रवाई न करने को लेकर आपत्ति जता दी। इसे लेकर कालेज प्रशासन असमंजस में है।
मेडिकल कालेज परिसर में 270 से ज्यादा आवारा कुत्ते हैं। हास्टल से लेकर आवासीय परिसर में कई लोग इन्हें खाना देते हैं। इनकी संख्या तेजी से बढ़ती जा रही है। अब इनमें कई कुत्ते खूंखार हो चुके हैं। वाहनों पर झपटते रहते हैं। अब तक पांच वर्षीय बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक को काट चुके हैं। कालेज प्रशासन का कहना है कि गर्मी शुरू होते ही अब तक करीब 12 लोगों को काट चुके हैं। इससे परिसर में दहशत का माहौल है।
अभिभावक अपने बच्चों को खेलने के लिए भी बाहर नहीं भेज पा रहे हैं। सुलतानपुर की सांसद मेनका ने प्राचार्य से इन कुत्तों के लिए शेल्टर बनाने तक की सलाह दी है। असमंजस की स्थिति में आए प्राचार्य प्रो. अरुण जोशी भी अब खुलकर बोलने से बच रहे हैं।
नगर निगम में लगाई थी गुहार कालेज प्रशासन ने बैठक कर आवारा कुत्तों से निजात दिलवाने के लिए नगर निगम के मेयर व नगर आयुक्त से भी गुहार लगाई थी। कुत्तों को बाहर करने की गुहार लगाई थी।
आपस में उलझे डाक्टर व स्टाफ
मेडिकल कालेज की एक डाक्टर ने कुत्तों को हटाए जाने की शिकायत मेनका गांधी तक पहुंचाई थी। इसके अलावा एक अन्य डाक्टर प्राचार्य को इन्हें न हटाए जाने का अनुरोध कर चुके हैं। वहीं अधिकांश डाक्टर व स्टाफ आवारा कुत्तों से खतरा बताते हुए हटाए जाने के पक्ष में हैं। इसे लेकर कालेज के वाट्सग्रुप में इसे लेकर द्वंद्व चल रहा है।
टीके के लिए बेस अस्पताल
मेडिकल कालेज के अस्पताल में रैबीज का इंजेक्शन मुफ्त में उपलब्ध नहीं है। ऐसे में लोग रैबीज लगवाने के लिए बेस अस्पताल में जाते हैं।