देश में जिस तरीके से कोरोना के खिलाफ टीकाकरण अभियान चलना चाहिए इतना तेजी से चलता नजर नहीं आ रहा है सरकार ने पहले कोरोना वैक्सीन के पहले दो उसके बाद दूसरा डोज लगाने का समय 28 दिन दिया था लेकिन जैसे-जैसे अभियान में तेजी आने लगी वैसे वैसे सरकार के पास वैक्सीन की कमी भी बढ़ती गई और बढ़ता गया दूसरे डोज को लेकर जनता का इंतजार इसको बढ़ाकर 45 दिन कर दिया गया लेकिन हम भारत सरकार की तरफ से ऐसी गाइडलाइन राज्यों को भेज दी गई है जिसके तहत 1 जून लगने के 12 या 16 हफ्ते में इसकी दूसरी ढूंढ लगाई जाएगी यानी अब इंतजार 45 दिन से बढ़कर 84 दिन या फिर 112 दिन के लगभग हो गया है देश के स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने सभी राज्यों के मुख्य सचिवों को पत्र लिखकर इसके बारे में निर्देश दिए हैं की केंद्र द्वारा दिए गए निर्देशों का कड़ाई से पालन किया जाए और सभी लोगों को दूसरी डोज नए भेजे कार्यक्रम के अनुसार ही लगाने के निर्देश दिए है।
उनके अनुसार केंद्र द्वारा कोरोना लड़ाई के लिए बनाया गया कोविड वर्किंग ग्रुप और विशेषज्ञों ने साफ तौर पर कहा है कि कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज 12 से 16 हफ्ते के अंतर्गत ही लगाया जाए इससे वैक्सीन ज्यादा अच्छे से काम करेंगे और उसके रिजल्ट अच्छे आएंगे हालांकि देश का एक बड़ा वर्ग मानता है कि जिस तरीके से पहली और दूसरी डोज के बीच में अंतर बढ़ाया जा रहा है उससे साफ लगता है कि देश मे जिस तरह से अभियान चल रहा है कही देश मे डोज की कमी तो नही और इस तरह कमी को छुपाने के लिए लिए सरकार लागतर दूसरे डोज का।समय आगे बढ़ा रही है हालांकि केंद्र और राज्य सरकार के अनुसार डोज की कोई कमी नहीं है कमी पड़ेगी तो बाहर से खरीदने के लिए ग्लोबल टेंडर भी किया जा रहा है ।