एम्स ऋषिकेश में अब इन विट्रो फर्टिलाइजेशन सेंटर (आईवीएफ) सुविधा शुरू कर दी गई है। स्वास्थ्य सुविधाओं के क्षेत्र में इस नई उपलब्धि के शुरू होने से उन परिवारों को सीधे तौर पर लाभ मिलेगा। जिन दंपतियों के शारीरिक कमी की वजह से बच्चे नहीं हो पाते हैं। इस सुविधा के शुरू होने से अब बांझपन का दंश झेल रहे लोगों की समस्या का समाधान हो सकेगा। इसके साथ ही उत्तराखंड में एम्स ऋषिकेश पहला सरकारी स्वास्थ्य संस्थान बन गया है। जहां यह सुविधा शुरू की गई है।
एम्स ऋषिकेश के प्रभारी निदेशक और सीईओ प्रो. अरविंद रघुवंशी ने संस्थान के गायनी विभाग में आईवीएफ सेंटर सेंटर का उद्घाटन किया। उन्होंने कहा कि जो महिलाएं बांझपन की समस्या से ग्रसित हैं। उन्हें सामाजिक कलंक, वर्जना और मानसिक प्रभावों का भी सामना करना पड़ता है। उन्होंने कहा कि एम्स में आईवीएफ केंद्र खुलने से उत्तराखंड और आस पास के शहरों में रहने वाले ऐसे सभी लोगों को लाभ मिल सकेगा जो संतान सुख से वंचित हैं।