ज्योतिरादित्य सिंधिया की राह पर सचिन पायलट! ; कांग्रेस की गहलौत सरकार संकट में

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  • राजस्थान के कांग्रेस के 24 विधायक हरियाणा और दिल्ली स्थित होटलों में पहुँच गए हैं। भयभीत राज्य सरकार ने सभी सीमाओं को सील कर दिया है।
  • एसओजी के नोटिस से पायलट नाराज हो गए हैं और वो अपने समर्थक विधायकों संग दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं।

जयपुर : लगता है राजस्थान में अशोक गहलोत की सरकार का भी वही हस्र होने वाला है जो मध्य प्रदेश की कमलनाथ सरकार हुआ। मध्य प्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया थे, अब राजस्थान कांग्रेस के अध्यक्ष सचिन पायलट हैं, जो राजस्थान के टोंक में खासा प्रभाव रखते हैं

बताया जा रहा है कि राजस्थान के कांग्रेस के 24 विधायक हरियाणा और दिल्ली स्थित होटलों में पहुँच गए हैं। भयभीत राज्य सरकार ने सभी सीमाओं को सील कर दिया है। ऊपरी तौर पर तो कहा जा रहा है कि ये कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को रोकने के लिए ये फैसला लिया गया है लेकिन इसे कांग्रेस के भीतर भारी अंदरूनी फूट को दबाने और विधायकों को बाहर जाने से रोकने के प्रयासों के रूप में देखा जा रहा है।

शनिवार (जुलाई 11, 2020) को सीएम अशोक गहलोत जब कैबिनेट मीटिंग कर रहे थे तो, बतौर डिप्टी सीएम सरकार के दूसरे बड़े नेता होने के बावजूद सचिन पायलट इस मीटिंग में शामिल नहीं हुए। कहा गया कि सचिन पायलट दिल्ली मे हैं, इसीलिए वो इस बैठक में शामिल नहीं हो पाए।

बता दें कि सरकार गिराने के प्रयास में कांग्रेस और निर्दलीय विधायकों को 20-25 करोड़ रुपए का ऑफर देने के आरोप में राजस्थान पुलिस ने दो लोगों को गिरफ्तार भी किया है। इसके अलावा इसकी जाँच के लिए सरकार ने एक एसओजी का गठन किया है, जिसने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट को नोटिस भेजा है ताकि उनका बयान दर्ज हो सके। इससे पायलट नाराज हो गए हैं और वो अपने समर्थक विधायकों संग दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं।

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