देश की दूसरे स्थान की सबसे ऊंची चोटी नंदा देवी के अंतर्गत वन और दुर्लभ वन्य जीवों की निगेहबानी के लिए पहली बार दो महिला वन दरोगा व महिला वन आरक्षी भी शामिल हुई हैं। नंदा देवी बायोस्फियर रिजर्व में अभी तक यहां पुरुष वन दरोगा व वन आरक्षी की ही तैनाती थी जो वन क्षेत्र में लंबी दूरी की गश्त करते थे लेकिन अब महिला वन दरोगा और वन आरक्षी भी वन क्षेत्र में लंबी दूरी की गश्त कर रही हैं। वह यहां न सिर्फ ड्यूटी निभा रही हैं, बल्कि ऊंचे ग्लेशियरों को पार कर दुर्लभ वन्य जीवों व जंगल की जानकारी भी जुटा रही हैं।
नंदा देवी पर्वत भारत की दूसरी और विश्व की 23वीं सर्वोच्च चोटी है। चमोली जिले में गौरीगंगा और ऋषि गंगा घाटी के बीच स्थित नंदा देवी पर्वत क्षेत्र 7817 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। विषम भौगोलिक परिस्थिति होने के कारण अभी तक नंदा देवी बायोस्फियर क्षेत्र में वन और वन्य जीवों की सुरक्षा में पुरुष वन दरोगा और वन आरक्षी मुस्तैद रहते थे, लेकिन इस वर्ष से यह जिम्मा महिला वन दरोगा व वन आरक्षी को भी सौंपा गया है।
नंदा देवी बायोस्फियर रिजर्व के निदेशक/वन संरक्षक अमित कंवर ने बताया कि जून माह के पहले सप्ताह में नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क की तीन टीमें अलग-अलग क्षेत्रों में दुर्लभ वन्य जीव, जड़ी-बूटियों की तस्करी, शिकार, अवैध पेड़ों के कटान व अतिक्रमण का निरीक्षण करने के लिए लंबी दूरी की गश्त पर गई थीं। दूसरी टीम के 12 सदस्यों में तीन महिला अधिकारियों को भी शामिल किया गया था। राष्ट्रीय पार्क क्षेत्र में लंबी दूरी की गश्त के लिए महिला अधिकारियों को पहली बार शामिल किया गया था। एक सप्ताह तक उच्च हिमालय क्षेत्र का निरीक्षण करने के बाद ही दल लौटा।
अभी तक महिला वन दरोगा व वन आरक्षी नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क में छोटी दूरी की गश्त में ही शामिल होती थीं, पहली बार महिलाएं लंबी दूरी की गश्त पर गईं। उन्होंने उच्च हिमालय क्षेत्रों में दुर्लभ वन्य जीव व पक्षी देखे। उन्होंने वन क्षेत्र का निरीक्षण भी किया। अब आगे भी महिलाओं को लंबी दूरी की गश्ती दल में शामिल किया जाएगा।