दिल्ली। एआईएमआईएम अध्यक्ष और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने भीड़ हिंसा को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला किया है। ओवैसी ने कहा कि पीएम मोदी ने शाहबानो को याद किया। क्या उनको तबरेज अंसारी, अख्लाक, पहलू खान याद नहीं थे? क्या उन्हें याद नहीं था कि उनके मंत्री ने अलीमुद्दीन अंसारी के हत्यारों को माला पहनाई थी? अगर कोई ‘गटर ’टिप्पणी कर रहा है, तो आप मुसलमानों को आरक्षण क्यों नहीं देते?
ओवैसी ने आगे कहा कि आपकी पार्टी में कोई मुस्लिम सांसद नहीं है। कौन उन्हें पीछे रख रहा है? आप। आपके शब्दों और विचारधारा के बीच एक अंतर है। नरसिम्हा राव बाबरी मस्जिद विध्वंस के लिए जिम्मेदार थे, पीएम होने के बावजूद उन्होंने कुछ नहीं किया। अब पीएम मोदी हैं जो अपनी विचारधारा पर काम करना चाहते हैं।
शाहबानो पर क्या बोले थे पीएम मोदी?
बता दें कि लोकसभा में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर हुई चर्चा के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तत्कालीन केंद्रीय मंत्री आरिफ मोहम्मद खान के एक इंटरव्यू का जिक्र करते हुए कहा था कि शाहबानो केस के समय कांग्रेस के एक नेता ने इंटरव्यू के दौरान कहा था कि मुसलमानों के उत्थान की जिम्मेदारी कांग्रेस की नहीं है। मुसलमान अगर ‘गटर’ में रहना चाहते हैं, तो उन्हें गटर में ही रहने दो।
पीएम मोदी ने तीन तलाक बिल पर कांग्रेस से समर्थन की उम्मीद करते हुए कहा था कि कांग्रेस के पास अपनी गलती सुधारने का मौका है। 1980 के दशक के शाहबानो प्रकरण पर चर्चा करते हुए पीएम ने कहा कि उस समय भी देश की सबसे बड़ी अदालत ने तलाकशुदा शाहबानो के पक्ष में फैसला दिया था।
लेकिन, कांग्रेस की तुष्टीकरण नीति ने तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी को बुरी तरह डरा दिया और सुप्रीम कोर्ट के फैसले को इस्लाम में दखल मानकर केंद्र ने नया कानून बनाया और सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लागू होने से ही रोक दिया गया था और शाहबानो इंसाफ से वंचित रह गईं थीं।
आरिफ मोहम्मद की सफाई
आरिफ मोहम्मद खान ने कहा कि पीएम मोदी मेरे 6-7 साल पहले के इंटरव्यू का उल्लेख कर रहे हैं। उस दौरान शाहबानो केस में कांग्रेस सरकार ने जो फैसला लिया था उसे लेकर मैंने इस्तीफा दे दिया था। इस्तीफा देने के बाद मैं अपने घर से भी चला गया था।
इसके बाद जब मैं अगले दिन संसद गया तो मुझे अर्जुन सिंह और कांग्रेस के कई नेताओं ने समझाया। वहीं बाद में नरसिम्हा राव ने मुझसे कहा कि तुम बहुत जिद्दी हो, शाहबानो ने भी अपना रुख बदल लिया है। इस्तीफा वापस लेने के लिए मुझपर दबाव बनाया जा रहा था।