दिल्ली। दिल्ली उच्च न्यायालय ने जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल को विदेश जाने की अनुमति देने से मंगलवार को इनकार कर दिया। साथ ही उनके खिलाफ जारी ‘लुक आउट सर्कुलर’ (एलओसी) को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर केंद्र सरकार से जवाब मांगा है।
न्यायाधीश सुरेश कैत ने कहा कि इस समय गोयल को कोई अंतरिम राहत नहीं दी जा सकती है और यदि वह तत्काल विदेश यात्रा करना चाहते हैं तो उन्हें गारंटी के तौर 18,000 करोड़ रुपये जमा कराने होंगे।
गोयल ने लुक आउट सर्कुलर को चुनौती देने वाली याचिका में कहा है कि उनके खिलाफ कोई प्राथमिकी दर्ज नहीं की गयी है फिर भी उन्हें 25 मई को दुबई की एक उड़ान से उतार लिया गया। गोयल ने कहा कि उन्हें लुक आउट सर्कुलर की जानकारी ही 25 मई को तब मिली जब वह और उनकी पत्नी अनीता दुबई जा रहे थे, जहां से वह लंदन जाने वाले थे।
उच्च न्यायालय ने गोयल से विदेश जाने का कारण पूछा। न्यायालय ने पूछा कि क्या आप अपने निवेशकों से फोन पर बात नहीं कर सकते। विदेश जाने का अधिकार सीमित है और ऐसा नहीं है कि आप कुछ भी करें और विदेश चले जाएं।
उच्च न्यायालय ने आगे कहा कि ऐसे कई उदाहरण हैं कि पेंडिंग केस वाले लोग विदेश चले जाते हैं और फिर सरकार को उन्हें स्वदेश बुलाने के लिए करोड़ों रुपये खर्च करने पड़ते हैं।
न्यायालय ने गोयल से कहा कि आपने विदेश जाने का अपना मकसद स्पष्ट नहीं किया है। न्यायालय ने पूछा कि पिछली बार वे कब विदेश गए थे, क्या उनकी एयरलाइन में परेशानी आने के बाद विदेशी दौरा हुआ था?