देहरादून। मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित तबादला समिति की शासन में आज होने वाली बैठक में प्रदेश में शिक्षकों के तबादलों पर निर्णय लिया जाएगा। बैठक में पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में दुर्गम से सुगम में आए शिक्षकों के प्रकरणों के साथ ही उन शिक्षकों के मामलों पर निर्णय लिया जाएगा जो गंभीर बीमार हैं या फिर कोई अन्य आधार वाले हैं।
वर्तमान शिक्षा सत्र में बेसिक और माध्यमिक के 10 फीसदी पात्र शिक्षकों के तबादले किए गए थे। इसमें कुछ शिक्षकों के पर्वतीय जनपदों से मैदानी जनपदों में तबादले किए गए, लेकिन 172 प्राथमिक विद्यालयों के सहायक अध्यापक, 61 प्राथमिक विद्यालयों के प्रधानाध्यापक, 66 उच्च प्राथमिक विद्यालयों के सहायक अध्यापक, 15 उच्च प्राथमिक विद्यालयों के प्रधानाध्यापक स्वेच्छा से दुर्गम से सुगम विद्यालयों में नहीं आना चाहते।
28 शिक्षणेत्तर कर्मचारी पहाड़ छोड़कर मैदान में नहीं आना चाहते
इनके अलावा 28 शिक्षणेत्तर कर्मचारी भी पहाड़ छोड़कर मैदान में नहीं आना चाहते। जबकि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में जिन शिक्षकों के दुर्गम से सुगम स्कूलों में तबादले किए गए थे, उनमें से कुछ शिक्षकों के तबादलों को शिक्षा विभाग की ओर से निरस्त कर संबंधित शिक्षकों को मूल विद्यालयों के लिए कार्यमुक्त किया गया था।
जबकि दो सौ से अधिक शिक्षकों को कार्यमुक्त न कर उन्हें रोक लिया गया था। इनमें से अधिकतर शिक्षक पति पत्नी के आधार, गंभीर बीमार और दुर्गम से दुर्गम क्षेत्र में तैनाती वाले हैं। इन सभी शिक्षकों के मामले में आज निर्णय लिया जाना है।
इन प्रकरणों को भेजा जाता है कमेटी को
तबादला एक्ट के तहत शिक्षकों के अनिवार्य और अनुरोध के आधार पर तबादले किए जाते हैं। इन तबादलों के बावजूद कुछ शिक्षकों के तबादले नहीं हो पाते, इन तबादलों के प्रकरणों को शिक्षा विभाग की ओर से मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित कमेटी को भेजा जाता है। कमेटी इन सभी प्रकरणों पर निर्णय लेती है।
मुख्य सचिव की अध्यक्षता में आज धारा 27 की बैठक होनी है। बैठक में शिक्षकों के तबादलों के प्रकरणों पर निर्णय लिया जाना है।
– आरके कुंवर, शिक्षा निदेशक