गोपेश्वर (चमोली)। विश्व धरोहर फूलों की घाटी (Valley of Flowers) पयर्टकों के लिए बंद कर दी गई है। रविवार को दोपहर के बाद इसको लेकर औपाचारिक तौर पर आदेश जारी कर दिया गया था। हालांकि, पिछले दिनों प्रदेश में आई प्राकृतिक आपदा (Natural Disaster) के बाद से ही घाटी में पर्यटकों का प्रवेश बंद कर दिया गया था। इससे बीती 18 अक्टूबर से यहां कोई भी सैलानी नहीं आया। अब सैलानी अगले वर्ष जून से घाटी का दीदार कर पाएंगे।
नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क (Nanda Devi National Park) के रेंज अधिकारी बृजमोहन भारती ने बताया कि इस वर्ष 9404 सैलानियों (Tourists) ने फूलों की घाटी की सैर की, जबकि पिछले वर्ष कोरोना काल (Coronavirus Outbreak) में यह संख्या सिर्फ 924 थी। कोविड के चलते इस साल फूलों की घाटी में पर्यटकों को एक जुलाई से प्रवेश से की अनुमति दी गई थी। रेंज अधिकारी के मुताबिक पर्यटकों से पार्क को इस बार 13 लाख 93 हजार 575 रुपये का राजस्व प्राप्त हुआ।
पर्यटकों के आंकड़े
वर्ष 2018 14752
वर्ष 2019 17724
वर्ष 2020 924
वर्ष 2021 9404
फूलों का अद्भुत संसार, खिलते हैं करीब पांच सौ प्रजातियों के फूल
फूलों की घाटी में फूलों का अद्भुद संसार देख मन बेहद खुश हो जाता है। चमोली जिले में स्थित फूलों की घाटी में करीब पांच सौ प्रजातियों के फूल खिलते हैं, जो हर किसी को अपनी ओर खींच लाते हैं। इन फूलों में रोडोडियाड्रोन, अर्बेनियम बेथमानी, इनमें जर्मेनियम, लिलियम, बछनाग, डेलफिनियम, ब्रह्मकमल, कस्तूरा कमल, हिमालयी नीला पोस्त, मार्श समेत अन्य कई प्रजातियां भी शामिल हैं। इससे फूलों की घाटी का सौंदर्य और निखर जाता है और लोग यहां आने को मजबूर हो जाते हैं।