देहरादून। उत्तराखंड में साढ़े छह लाख उपभोक्ताओं का राशन बंद हो गया है। खाद्य आपूर्ति विभाग ने राशन कार्डों में इन उपभोक्ताओं के आधार नंबर अपडेट नहीं होने के कारण उन्हें अपने पोर्टल से हटा दिया है। नैनीताल जिले में 60 हजार यूनिटें हटाई गईं हैं।
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के तहत प्रदेश में 62 लाख यूनिटें (उपभोक्ता) हैं। इनमें से 55.50 लाख उपभोक्ताओं का ही आधार राशन कार्ड में अपडेट हुआ है। खाद्य सचिव ने पूर्ति विभाग को ऐसे उपभोक्ताओं का आधार अपडेट करने या पोर्टल से उन्हें हटाने का आदेश दिया था। इसके बाद पूर्ति विभाग ने साढ़े छह लाख यूनिटों को पोर्टल से हटा दिया। अब इन यूनिटों पर राशन नहीं मिलेगा।
केंद्र ने रोकी है राज्य की 300 करोड़ की सब्सिडी
केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना (एनएफएसए) में आधार अपडेट नहीं होने के कारण राज्य सरकार की 300 करोड़ रुपये की सब्सिडी रोक दी है। केंद्र सरकार राशन कार्ड में शत प्रतिशत आधार अपडेट करने या आधार अपडेट नहीं होने पर यूनिटों को हटाने का दबाव राज्य सरकार पर डाल रही थी। केंद्र सरकार राज्य को राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के तहत बंटने वाले खाद्यान्न में सब्सिडी देती है। एक साल में यह सब्सिडी 300 करोड़ रुपये पहुंच गई।
फरवरी तक करा सकते हैं आधार अपडेट
केंद्र सरकार ने राज्य सरकार को राष्ट्रीय खाद्य योजना के तहत 62 लाख यूनिटों का टारगेट दिया है। अब इस योजना के तहत मात्र 55.50 यूनिटें ही रह गईं हैं। राज्य सरकार ने पोर्टल से हटाए गए उपभोक्ताओं को फरवरी तक का समय दिया है। फरवरी तक ये उपभोक्ता राशन कार्ड में आधार अपडेट करा सकते हैं।
डीएसओ ने राज्य सरकार से मांगी रियायत
13 जिलों के डीएसओ ने राज्य सरकार को पत्र लिखकर रियायत मांगी है। इसमें कहा गया है कि राज्य में कई ऐसे उपभोक्ता हैं, जो दिव्यांग हैं। ऐसे व्यक्तियों का आधार कार्ड नहीं बन सकता है, इसलिए ऐसे यूनिटों का राशन जारी किया जाए।
केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के तहत राज्य की 300 करोड़ रुपये की सब्सिडी आधार अपडेट नहीं होने के कारण रोक रखी है। इसलिए जिन यूनिटों का आधार कार्ड अपडेट नहीं था, उन्हें हटाया जाना था। अब पूर्ति विभाग ने पूरे प्रदेश में ऐसी साढ़े छह लाख यूनिटों को राशन कार्डों से हटा दिया है। इन उपभोक्ताओं को राशन नहीं मिलेगा। हालांकि ऐसे उपभोक्ता फरवरी तक अपना आधार अपडेट करा सकते हैं।
-राहुल शर्मा, उपायुक्त खाद्य कुमाऊं।