इस सर्वे के माध्यम से उन पांच राज्यों की जनता से उम्मीदवारों के चयन को लेकर अलग-अलग मसलों पर राय मांगी गई है, जहां विधानसभा चुनाव होने हैं। 13 पेज के इस ऑनलाइन सर्वे में पूछे गए प्रश्नों से जाहिर है कि संगठन से इतर पीएम मोदी भी यह पता लगाना चाहते हैं कि जनता की निगाह में पांच चुनावी राज्यों की सरकारों और विधायकों का कामकाज कैसा है और आगामी चुनाव में जनता क्या चाहती है?
सियासी जानकारों के मुताबिक सर्वे के नतीजे विधानसभा चुनाव में यह फैसला लेने में मददगार होंगे कि कितने विधायकों को दोबारा उम्मीदवार बनाया जाना है और कितनों के टिकट काटे जाने हैं। सर्वे में बहुविकल्पीय प्रश्न पूछे गए हैं।
इन राज्यों में होना है विधानसभा चुनाव
उत्तराखंड के अलावा उत्तरप्रदेश, पंजाब, गोवा और मणिपुर में विधानसभा चुनाव होने हैं। यूपी, उत्तराखंड, गोवा, मणिपुर में भाजपा व उसके सहयोगियों की सरकार है, जबकि पंजाब में कांग्रेस की सत्ता है।
सर्वे में जो पूछा गया है
आगामी विधानसभा चुनाव वाले राज्यों की जनता से राज्य सरकार के प्रदर्शन का नंबर के जरिये आंकलन करने, विपक्षी दलों के एकजुट होने पर चुनाव परिणाम, स्थानीय विधायक से जुड़े मुद्दों पर सवाल पूछे गए हैं।
किस मुद्दे पर करेंगे मतदान
सर्वे में जनता से पूछा गया है कि जब वह मतदान करने जाएंगे तो वे कोविड 19 प्रबंधन, महंगाई, भ्रष्टाचार, बेरोजगारी, शिक्षा व कानून व्यवस्था में किस मुद्दे को महत्व देंगे। यानी इनमें से किस मुद्दे पर वोट करेंगे। इसमें प्रधानमंत्री मोदी का देश में नेतृत्व, राज्यस्तरीय और स्थानीय मुद्दों का भी विकल्प दिया गया है।
टीकाकरण पर मांगी गई है राय
सर्वे में कोविड 19 महामारी के टीकाकरण की स्थिति पर जनता से राय मांगी गई है। प्रश्नों के जरिये राज्य के तीन सबसे अधिक लोकप्रिय नेताओं के नाम भी मांगे गए हैं।
कुछ अहम दिलचस्प प्रश्न
– क्या उम्मीदवार की जाति, धर्म या उसके काम के रिकार्ड को वरीयता देंगे?
– विधायक चुनने में जाति, धर्म या विकास क्या आधार होना चाहिए?
– क्या व्यक्ति ने भाजपा के लिए कार्यकर्ता के रूप में काम किया है व पार्टी को दान या चंदा दिया है?
– राज्य और चुनाव क्षेत्र के तीन सबसे लोकप्रिय बीजेपी नेताओं के नाम पूछे गए। ये मुख्यमंत्री और विधायक के चेहरे की परख करने में मदद करेगा।
– क्या विधायक सुलभ हैं, उनके कार्यों से संतुष्ट हैं?
– विस में क्षेत्र में सार्वजनिक सेवाओं सड़क, बिजली, पेयजल कानून व्यवस्था, शिक्षा की स्थिति से कितने संतुष्ट हैं?
– क्या आपको लगता है कि विपक्षी एकता का आपके चुनाव क्षेत्र पर असर पड़ेगा?
– केंद्र राज्य में एक ही सरकार विकास में मददगार, से सहमत हैं?
– चार साल में राज्य सरकार की कार्यसंस्कृति में क्या सुधार हुआ?
– राज्य सरकार की किस योजना या पहल से आपको सबसे ज्यादा लाभ हुआ?
– स्वच्छ भारत, कानून व्यवस्था, शहरी विकास, अर्थव्यवस्था, ग्रामीण बिजली, किसान, भ्रष्टाचार मुक्त शासन, स्वास्थ्य सेवा, रोजगार के अवसर, सड़क पर भी राय मांगी गई है।
4.5 लाख कार्यकर्ताओं के फोन पर नमो एप
भाजपा के प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार के मुताबिक पार्टी के चार लाख कार्यकर्ताओं के स्मार्ट फोन पर नमो एप्लीकेशन डाउनलोड है। उन्होंने कहा कि प्रदेश संगठन के स्तर पर अभी कोई सर्वे नहीं है। नमो एप पर पार्टी कार्यकर्ता भी अपना राय दे सकते हैं।