नेलांग घाटी के चोरगाड क्षेत्र में हिम तेंदुए की चहलकदमी ट्रैप कैमरे में कैद हुई है। पिछले साल शीतकाल के लिए गंगोत्री नेशनल पार्क के गेट बंद होने से पूर्व पार्क प्रशासन ने क्षेत्र में अलग-अलग जगहों पर 40 ट्रैप कैमरे लगाए थे। पार्क प्रशासन की टीम धीरे-धीरे इन ट्रैप कैमरों को निकाल रही है।
गंगोत्री नेशनल पार्क क्षेत्र में करीब 35 से 40 हिम तेंदुए होने का अनुमान है। यहां हिम तेंदुए के साथ भूरा, काला भालू, लाल लोमड़ी, हिमालयन मोनाल, भरल, अरगली भेड़ आदि कई वन्यजीव पाए जाते हैं। शीतकाल में वन्यजीवों की निगरानी व अनुसंधान के उद्देश्य से पार्क प्रशासन यहां ट्रैप कैमरे लगाता है।
पिछले साल भी पार्क प्रशासन ने पार्क क्षेत्र के केदारताल, गोमुख ट्रैक, नेलांग घाटी के कारछा, चोरगाड, तिरपानी व नीलापानी तथा भैंरोघाटी, गरतांग गली में कुल 40 ट्रैप कैमरे लगाए थे। हाल में पार्क प्रशासन की एक टीम नेलांग घाटी के चोरगाड में लगाए गए ट्रैप कैमरों को निकालकर लाई जिसमें से एक ट्रैप कैमरे में हिम तेंदुआ घूमता हुआ दिखा है जबकि एक अन्य में तस्वीर कैद हुई है।
भारतीय वन्यजीव संस्थान की टीम ने भी नेलांग घाटी में वन्यजीवों की गतिविधियों पर नजर रखने व अनुसंधान के मकसद से 65 कैमरे लगाए हैं। वन्यजीव संस्थान से जुड़ी रिसर्च स्कॉलर डाॅ. रंजना पाल ने बताया कि मौसम अनुकूल नहीं होने के चलते अभी ट्रैप कैमरे नहीं निकाले गए हैं। उन्होंने एक-दो सप्ताह बाद कैमरों को निकालने की बात कही। ट्रैप कैमरों, कैमरों और मोबाइल कैमरों में बार-बार हिम तेंदुओं की तस्वीरें व वीडियो फुटेज कैद होना इस बात का संकेत है कि पार्क क्षेत्र में इनकी संख्या बढ़ रही है। -आरएन पांडेय, उप निदेशक, गंगोत्री नेशनल पार्क।