देहरादून। प्रदेश में दूसरे राज्यों में फंसे हुए लोगों का आने का सिलसिला जारी है। इस कड़ी में मंगलवार को सूरत और पुणे से आई दो ट्रेनों में तकरीबन 2600 लोग हरिद्वार पहुंचे। बंगलुरू से भी एक ट्रेन 1200 यात्रियों को लेकर बुधवार को हरिद्वार पहुंचेगी। इसके अलावा जयपुर, पंजाब, चेन्नई, केरल, तेलंगाना, लखनऊ और गोवा में फंसे हुए यात्रियों को लाने के लिए रेल मंत्रालय से अनुरोध किया गया है। सरकार यात्रियों के किराये के रूप में अग्रिम एक करोड़ रुपये रेलवे को दे चुकी है। वहीं अभी तक प्रदेश में वापसी के लिए 1,98,584 लोगों ने ऑनलाइन पंजीकरण किया है। इनमें से 51,394 वापसी कर चुके हैं।
प्रदेश में दूसरे राज्यों में फंसे हुए लोगों के आने का सिलसिला जारी है। फंसे हुए लोग ट्रेन, बसों और अपने वाहनों से वापस आ रहे हैं। इस समय प्रदेश सरकार ट्रेन द्वारा दूसरे राज्यों से लोगों को लेकर आ रही है। इसके तहत मंगलवार को दो ट्रेन यात्रियों को लेकर हरिद्वार पहुंची। इसके अलावा अन्य राज्यों में फंसे हुए लोगों को भी ट्रेन से लाने की तैयारी चल रही है। यह जानकारी देते हुए सचिव परिवहन शैलेश बगोली ने बताया कि हर जिले में आने वाले यात्रियों की व्यवस्था करने की एक निश्चित क्षमता है। इसी कारण हर दिन एक या दो ट्रेनों को ही भेजे जाने का अनुरोध केंद्र से किया गया है। उन्होंने कहा कि पहले चरण में जिन स्टेशनों में ज्यादा लोग फंसे हुए हैं उन्हें वापस लाया जा रहा है।
इसके बाद दूसरे चरण में ऐसी रूट प्लान बनाय जाएगा जिसमें एक गंतव्य से चलने के बाद ट्रेन रास्ते में पड़ने वाले शहरों से भी लोगों को वापस लेकर आ सके। उन्होंने कहा कि राजस्थान, पंजाब व उत्तर प्रदेश से बसों से फंसे हुए लोगों को वापस लाया जाएगा। इसके अलावा जम्मू व हिमाचल में फंसे लोगों को बसों से वापस लाने की तैयारी है। इन राज्यों से बात चल रही है। यह देखा जा रहा है कि ये राज्य अपनी बसें यहां भेजेंगे अथवा उत्तराखंड इन राज्यों में अपनी बसें भेजेगा। उन्होंने बताया कि 15 मई तक 3800 लोगों को वापस आने के लिए पास निर्गत किए गए हैं। प्रदेश के जो भी प्रवासी वापस आना चाहते हैं उन्हें ई-पास जारी किए जा रहे हैं। तकरीबन 50 हजार लोगों ने वापस आने से किया इन्कार।
सचिव परिवहन शैलेश बगोली ने बताया कि वापस के लिए अभी तक 1.98 लाख लोग पंजीकरण करा चुके हैं। जिन लोगों ने पंजीकरण कराया है, उनसे फोन पर संपर्क कर वापसी के संबंध में जानकारी दी जा रही है। पंजीकरण कराने वालों में 25 से 30 फीसद ऐसे लोग हैं जो अब वापस नहीं आना चाहते हैं। यह संख्या 50 हजार के आसपास है। उन्होंने कहा कि जो भी वापस आना चाहता है, प्रदेश सरकार उसे वापस लाने को तैयार है।
स्वास्थ्य परीक्षण कर ही लोगों को लाया जा रहा वापस
सचिव परिवहन ने कहा कि पंजीकृत लोगों को ट्रेन में बिठाने से पहले उनका स्वास्थ्य परीक्षण कराया जा रहा है। स्वास्थ्य रिपोर्ट सही पाए जाने के बाद ही उन्हें ट्रेन में बिठाया जा रहा है। यहां भी सबकी थर्मल स्केनिंग की जा रही है। जिन में थोड़े भी लक्षण हैं उन्हें संस्थागत क्वारंटाइन और शेष को होम क्वारंटाइन किया जाएगा। इन राज्यों से
वापस पहुंचे लोग
हरियाणा-13799
उत्तर प्रदेश- 11957
दिल्ली- 9542
चंडीगढ़ – 7163
राजस्थान – 2981
पंजाब – 2438
राजस्थान- 2981
पंजाब – 2438
गुजरात- 1060
अन्य – 1032
राज्य में 52631 इधर से उधर
लॉकडाउन में मिली छूट का फायदा उठाते हुए प्रदेश में अभी तक 52621 लोग एक से दूसरे जिले में गए हैं। इनमें से 25902 अपने गृह जिले वापस आए हैं। इनमें सबसे अधिक 6379 चमोली, 4813 रुद्रप्रयाग व 2670 टिहरी में आए हैं। वहीं सबसे अधिक 5836 देहरादून, 5493 हरिद्वार और 4870 लोग पौड़ी से अपने गृह जिलों को गए हैं।