सत्र का पहला दिन हंगामे की भेंट चढ़ा

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देहरादून। संवाददाता। उत्तराखण्ड विधानसभा का बजट सत्र शुरू होने से पहले ही हंगामें की भेंट चढ़ गया। विपक्ष कांग्रेस जो पहले से ही जहरीली शराब से हुई मौतों के मुद्दे पर सरकार को घेरने के लिए कमर कसे हुए थी। उसे सत्ता पक्ष द्वारा सदन की कार्यवाही तय समय से पहले ही शुरू कराकर एक नया विरोध का मुद्दा विपक्ष को थमा दिया गया। कांग्रेस विधायकों ने सदन से वाकआउट कर विधानसभा की सीढ़ियों पर बैठकर सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया। विपक्ष की गैरमौजूदगी व हंगामें के कारण विधानसभा अध्यक्ष द्वारा सदन की कार्यवाही को तीन बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया।

आज विधानसभा का बजट सत्र 11 बजे शुरू होना था। नेता विपक्ष इंदिरा हृदेयश कांग्रेस विधायकों के साथ 10.55 बजे जैसे ही सदन में पहुंची तो उस समय राज्यपाल बेबी रानी मौर्य का अभिभाषण चल रहा था। विपक्ष के सदन में पहुंचने से पहले ही राज्यपाल का अभिभाषण तय समय से पहले शुरू कराये जाने पर नेता विपक्ष ने अपना विरोध दर्ज कराते हुए इसे संवैधानिक मर्यादा के खिलाफ और विपक्ष का अपमान बताया। उनका कहना था कि ठीक है कि हमारी संख्या कम है लेकिन उसका मतलब यह नहीं है कि सत्ता में बैठे लोगों को हमारे अपमान का अधिकार मिल गया है। सदन में राज्यपाल के अभिभाषण के बीच ही कांग्रेसियों ने सदन में जमकर हंगामा किया। और सदन की कार्यवाही का बहिष्कार कर सदन से वाकआउट कर दिया।

कांग्रेस विधायकों ने सदन से वाकआउट के बाद वहीं सीढ़ियों पर बैठकर सरकार के रवैये का विरोध किया और नारेबाजी की। कांग्रेस नेताओं का कहना था कि सरकार लोकतांत्रिक व संवैधानिक मान्यताओं की धज्जियां उड़ा रही है जिसे कांग्रेस किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेगी। कांग्रेस ने आज जहरीली शराब से हुई मौतों के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए भी भारी हंगामा किया।

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