नैनीताल। कमल जगाती। देश के इतिहास में पहली बार किसी उच्च न्यायालय ने केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण के अध्यक्ष को अवमानना का नोटिस जारी करते हुए चार हफ्ते में जवाब देने को कहा है। भारतीय वन सेवा(आई.एफ.एस.)के वरिष्ठ अधिकारी संजीव चतुर्वेदी ने उच्च न्यायालय नैनीताल में अवमानना याचिका डाल केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण(कैट) के अध्यक्ष नरसिम्हा रेड्डी के खिलाफ कार्यवाही की मांग की थी।
फरवरी 20 को न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि “क्यों नहीं अवमानना की कार्यवाही इनके खिलाफ चलाई जाए । क्यों ना इन्हें न्यायालय के 19 जून 2017 और 21 अगस्त 2018 के आदेशों की अवमानना के लिए सजा दी जाए“ ? इससे पहले उच्च न्यायालय ने 21 अगस्त 2018 को केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण की बेंच के आदेश को क्वेश(खारिज)कर दिया था ।
इस केस में वरिष्ठ न्यायाधीश राजीव शर्मा और न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी की खण्डपीठ ने केंद्र सरकार के ऊपर 25,000 का जुर्माना लगाया था। संजीव ने 2017 में एम्स नई दिल्ली में मुख्य सतर्कता अधिकारी(सन 2012 से 2016) रहते हुए अपने खिलाफ प्रितिकुल प्रविष्टि देने के खिलाफ उच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी। न्यायालय के इस आदेश के बाद केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण के अध्यक्ष को दिया जाने वाला ये पहला अवमानना नोटिस बन गया है ।